अलेवा में आयोजित हुई ‘हरी चुनरी चौपाल’ कार्यक्रम के दौरान अलेवा गांव की सबसे बुजुर्ग महिला शिरया देवी (108 वर्ष) को शाल ओढाकर डबवाली से विधायिका नैना चौटाला ने सम्मानित किया। उन्होंने कहा कि बुजुर्ग महिला युवाओं और समाज के लिए प्रेरणा स्त्रोत होती हैं। इनसे हमें जीवन की सीख लेनी चाहिए। जिस परिवार में बुजुर्गो को मान-सम्मान दिया जाता है। वह परिवार सदैव खुशहाली से जीवन जीता है। बुजुर्गों के अनुभवों को हमें अपने जीवन में उताकर जीवन को सरल और सम्मानजनक बनाना चाहिए। आस-पास के गांवों में इतनी ज्यादा उम्र की कोई दूसरी औरत नहीं है। इनेलो विधायिका ने इस महिला को शॉल ओढाकर बुजुर्गों के सम्मान के लिए महिलाओं को प्रेरित करने का काम किया है। उन्होंने कहा कि बुजुर्ग व्यक्ति में बचपन, युवा और परिवार की जिम्मेदारियों के सभी अनुभव होते हैं। हमें अपने बुजुर्गों के पास बैठकर उनके अनुभवों को ग्रहण करना चाहिए। इस दौरान नैना ने कहा कि आज इस उम्र की महिला और पुरुपों को पेंशन लेने में भारी परेशानी होती है। इनेलो बसपा की सरकार आने पर इन बुजुर्गों का विशेष ध्यान रखा जाएगा और इनकी पेंशन से लेकर अन्य तरह की मिलने वाली सुविधाओं को इनके पास घर भेजने की व्यवस्था की जाएगा।