स्वराज अभियान के नेता योगेंद्र यादव ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से राज्य को सूखाग्रस्त घोषित किए जाने की मांग करते हुए इसमें हो रही देरी पर सवाल खड़े किए हैं। योगेंद्र ने मंगलवार को कहा कि राज्य में सूखे की स्थिति महाराष्ट्र से बदतर है।उत्तर प्रदेश के सूखा प्रभावित इलाकों में 'संवेदना यात्रा' का नेतृत्व करते हुए योगेंद्र ने राज्य को तुरंत सूखाग्रस्त घोषित करने की मांग की। उन्होंने कहा कि देश के जिन 30 जिलों में बारिश औसत से कम हुई, उनमें से 17 जिले उत्तर प्रदेश में आते हैं।आम आदमी पार्टी (आप) से अलग होने के बाद स्वराज अभियान नाम की अलग पार्टी गठित करने वाले योगेंद्र ने कहा कि राज्य के बुंदेलखंड की स्थिति महाराष्ट्र के मराठवाड़ा से भी बदतर है। योगेंद्र ने कहा कि उनकी टीम जल्द ही इस स्थिति पर अपनी विस्तृत र्पिोट पेश करेगी।
एक सप्ताह से भी कम समय में लगभग 36,000 किलोमीटर की 'संवेदना यात्रा' तय करने वाले योगेंद्र ने कहा कि वह किसानों की दुर्दशा को लेकर राज्य सरकारों को जागरूक करने की कोशिश कर रहे हैं।योगेंद्र ने संवाददाताओं को बताया कि वह वर्षा की कमी के कारण उत्पन्न समस्याओं से निपटने के लिए तत्काल कदम उठाने की मांग के लिए मुख्यमंत्री को पत्र लिख रहे हैं।उन्होंने किसानों के लिए ऋण माफी की मांग करते हुए सवाल किया कि यदि पूंजीपतियों के लिए ऋण माफ किया जा सकता है तो किसानों के लिए क्यों नहीं?'जय किसान' आंदोलन के राष्ट्रीय संयोजक, योगेंद्र ने संवाददाताओं से कहा कि राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में किसानों की हालत खराब है, क्योंकि सूखे के कारण खरीफ की फसल नष्ट हुई है और किसानों को आत्महत्या से रोकने के लिए तुरंत महत्पवूर्ण कदम उठाने की जरूरत है।