मुख्यमंत्री ने शनिवार रात राजधानी में नेफ्रोलॉजी डायलिसिस और किडनी ट्रांसप्लांटेशन पर आयोजित चिकित्सीय सम्मेलन का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा कि प्रदेश के पिछड़े और नक्सल प्रभावित क्षेत्र में अलग-अलग राज्यों के प्रतिष्ठत चिकित्सक आकर अपनी सेवाएं दे रहे हैं। यहां बेंगलुरू और जम्मू-कश्मीर आदि स्थानों के 30-32 चिकित्सक दिन-रात मेहनत कर रहे हैं। बीजापुर के जिला अस्पताल में जहां ओपीडी औसतन 10-15 होती थी, वहां आज हर माह तीन सौ सर्जरी हो रही है। उन्होंने कहा कि राज्य के बस्तर अंचल में विकास कार्यो के जरिए जीवन आसान हो रहा है। बस्तर में कनेक्टिविटी को सर्वोच्च प्राथमिकता दी गई है। आने वाले समय में बस्तर क्षेत्र एक विकसित और नैसर्गिक खूबसूरती वाला जिला होगा। उन्होंने इस अवसर पर चिकित्सकों को सम्मेलन की सफलता के लिए शुभकामनाएं दी। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर चिकित्सकों और स्वंयसेवी संस्थाओं को सस्ते दर पर डायलिसिस सुविधा उपलब्ध कराने के लिए सम्मानित किया। इस अवसर पर डॉ. संदीप दबे, डॉ. अशोक त्रिपाठी, डॉ. कल्याण सेनगुप्ता सहित बड़ी संख्या में विभिन्न क्षेत्रों से आए चिकित्सक उपस्थित थे।