इनेलो सुप्रीमो व पूर्व मुख्यमंत्री चौ. ओमप्रकाश चौटाला ने दावा किया कि इनेलो की हरियाणा परिवर्तन पदयात्रा न केवल नया इतिहास रचेगी बल्कि इसके जरिए बन रहे बदलाव के माहौल को देखते हुए साफ कहा जा सकता है कि आने वाली सरकार इनेलो की होगी। वे सोमवार को अपनी पदयात्रा के तहत आदमपुर विधानसभा क्षेत्रों के गांव कालीरामण, कोहली, आदमपुर गांव, आदमपुर मंडी व किशनगढ़ में आयोजित सभाओं को संबोधित कर रहे थे।
विशेष बात ये थी कि जब चौ. ओमप्रकाश चौटाला सैकड़ों लोगों के साथ इन गांवों में पहुंचे तो लोगों ने गर्मजोशी से यात्रा का स्वागत किया। महिलाओं ने मंगलगीत गा कर चौ. ओमप्रकाश चौटाला का अभिनंदन किया तो युवाओं ने समर्थन में जोरदार नारे लगाए।
इन सभी के प्रति चौ. ओमप्रकाश चौटाला ने आभार जताते हुए कहा कि आज देश और प्रदेश बर्बादी की कगार पर है। हर सरकारी सुविधाओं का बाजारीकरण करते हुए बड़े-बड़े पूंजीपतियों को बेचा जा रहा है।
ये देश अब पूंजीपतियों के हाथों की जागीर बनने की दिशा में है जबकि आम आदमी के हक अधिकार को दबाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की गठबंधन सरकार ने भी प्रदेश को लूटने का काम किया है।
लोगों को धरने प्रदर्शन करने पड़ रहे हैं मगर ये सरकार तानाशाही रवैया अपनाए हुए हैं। चौ. ओमप्रकाश चौटाला ने कहा कि प्रदेश में लगभग 25000 से अधिक शिक्षकों के पद खाली हैं। जूनियर बेसिक टीचर से लेकर स्कूल मुखिया के पद खाली होने के चलते स्कूलों में पढ़ाई पर भी असर पड़ रहा है।
चिंता की बात यह है कि सरकार की ओर से अनुबंध के आधार पर अतिथि अध्यापकों के सहारे स्कूली शिक्षा को उज्जवल बनाने के दावे किए जा रहे हैं। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में सरकार बनाने में युवाओं की भागीदारी सबसे अधिक होगी। आज प्रदेश का युवा अपने आप को ठगा हुआ महसूस कर रहा है।
युवाओं को उम्मीद थी कि भाजपा उन्हें नौकरी और रोजगार देगी, लेकिन भाजपा और जजपा दोनों ही पार्टियों ने युवाओं के साथ धोखा किया। अबकी बार इनेलो चुनावों में जहां 50 फीसदी टिकटें युवाओं को देगी वहीं हर घर से एक योग्य युवा को नौकरी देंगे।
प्रत्येक युवा को जब तक नौकरी नहीं मिलती 21 हजार रूपए बेरोजगारी भत्ता देंगे। महिलाओं को एक गैस सिलेंडर मुफ्त दिया जाएगा वहीं 1100 रूपए प्रति माह रसोई खर्च दिया जाएगा। कर्मचारियों के लिए ओपीएस स्कीम को लागू किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि एक साजिश और सोची-समझी चाल के तहत सरकार ने प्रदेश में 2 साल तक पंचायत के चुनाव नहीं करवाए। विकास का पैसा कागजों में खर्च करके खुद हड़प लिया। अब चुनाव होने के बाद सरकार में शामिल लोग सरपंचों-पंचों व चुने हुए प्रतिनिधियों को बेइमान व चोर कह रहे हैं।
यह सब गलत है और इससे जाहिर होता है कि मुख्यमंत्री और सत्ता में बैठे लोग इनसे भी बड़े बेइमान व चोर हैं।