Maharashtra में महासंग्राम जारी है। लेकिन अब इस संग्राम में
Aaditya Thackeray खुल कर बोले हैं। SC के फैसले के बाद आदित्य ठाकरे ने एक बार फिर शिवसेना के बागी विधायकों पर निशाना साधा है। आदित्य ठाकरे ने बागी नेताओं को चेतावनी दी कि अगर उनमें हिम्मत है तो आमने-सामने आकर बात करें। आदित्य ठाकरे ने शिंदे खेमे को विद्रोही नहीं बल्कि अलगाववादी कहा है।
आदित्य यहीं नहीं रुके। उन्होंने बागी विधायकों पर निशाना साधते हुए कहा कि जो विश्वासघात करते हैं- वे कभी नहीं जीतते। हमें खुदपर विश्वास है और लोगों से बहुत प्यार मिल रहा है। जो लोग यहां से भाग गए और खुद को बागी बता रहे हैं, अगर उन्हें बगावत करनी थी तो यहां करना चाहिए था। उन्हें इस्तीफा देकर चुनाव लड़ना चाहिए था। बागियों का दूसरा फ्लोर टेस्ट तब होगा जब वे मेरे सामने बैठेंगे, मेरी आंखों में देखेंगे और बताएंगे कि हमने क्या गलत किया?
आदित्य ठाकरे ने ये दावा भी किया कि Uddhav Thackeray ने पिछले महीने पार्टी नेता Eknath Shinde से पूछा था कि क्या वह मुख्यमंत्री बनना चाहते हैं, हालांकि शिंदे ने तब बात को टाल दिया था। आदित्य ने शिंदे के विद्रोह के हवाले से कहा, 20 मई को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने एकनाथ शिंदे को 'वर्षा' बुलाया था और पूछा था कि क्या वह मुख्यमंत्री बनना चाहते हैं। तब उन्होंने इस मुद्दे को टाल दिया था।
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि शिंदे ने पिछले हफ्ते पार्टी के खिलाफ बगावत कर दी थी। अब हालात ऐसे हैं कि शिवसेना के ज्यादातर विधायक उनके साथ हैं और सब असम के गुवाहाटी में एक होटल में रह रहे हैं। वहीं उद्धव ठाकरे अपनी कुर्सी और सास बचाने की जदोजहद में लगे हैं लेकिन कोई समाधान निकलता हुआ नजर नहीं आ रहा है। महाराष्ट्र के ऐसे हालत देखकर तो लगता है कि ये राजनीति नहीं सर्कस हो रही है।