Afghanistan की राजधानी Kabul से आतंकी हमले की बढ़ी खबर आ रही है। यहां एक गुरुद्वारे के अंदर आतंकवादियों ने अंधाधुंध फायरिंग की है। खबर है इस फायरिंग के दौरान एक गार्ड समेद 2 लोगों की मौत हो गई है। वहीं 7 से 8 लोग अभी भी गुरुद्वारे में फंसे हो सकते हैं। यह गोलीबारी काबुल के कार्त-ए-परवान गुरुद्वारे में हुई है। अब पूरे इलाके में दहशत का माहौल बना हुआ है।
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि नुपुर शर्मा द्वारा पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ टिप्पणी के बाद इस तरह के हमले की चेतावनी दी गई थी। ISIS से जुड़े इस्लामिक स्टेट्स खुरासान प्रांत की मीडिया विंग ने एक वीडियो जारी करके धमकी दी थी। इसने कहा कि 2020 के गुरुद्वारा हमले को दोहराया जाएगा। हमले के चश्मदीदों का कहना है कि- हमने सुबह करीब 6 बजे कार्ते परवान इलाके में विस्फोट की आवाज सुनी। पहले विस्फोट के लगभग आधे घंटे के बाद दूसरा विस्फोट हुआ। विस्फोट के कारण आसमान में धुएं का गुबार फैल गया। इसके बाद गुरुद्वारा परिसर के अंदर भी दो ब्लास्ट हुए। अंदर के ब्लास्ट से गुरुद्वारा से जुड़ी कुछ दुकानों में आग लग गई, जो पूरे परिसर में फैल गई। हमले के बाद से पूरे इलाके में दहशत का माहौल है। ताजा जानकारी यह मिली है कि श्री गुरु ग्रंथ साहिब और गुरुद्वारे के मुख्य दरबार हॉल तक आग फैग गई है।
भाजपा नेता Manjinder Singh Sirsa लगातार इस हमले की जानकारी लोगों तक पहुंचा रहे हैं और अपना दुख वक्त कर रहे हैं। उनका कहना है इस समय अफगानिस्तान के सिख असहाय महसूस कर रहे हैं। सिरसा ने ट्ववीट कर लिखा- काबुल के करते परवान गुरुद्वारा साहिब पर आज सुबह 6 बजे दहशतगर्दों द्वारा हमले की वीडियो… इस समय गुरुद्वारा दहशतगर्दों के क़ब्ज़े में है। अफ़ग़ानिस्तान में अल्पसंख्यक सिखों का ये प्रमुख गुरुद्वारा है.. वाहेगुरू से सरबत के भले और शांति की अरदास
वहीं सिरसा ने अपने दूसरे ट्वीट में हमले में मारे गए सविंदर सिंह की फोटो शेयर करके लिखा- मेरी संवेदनाएं सविंदर सिंह के परिवार के साथ है, जो सिख आज गुरुद्वारा आतंकी हमले में शहीद हो गया। अल्पसंख्यक सिखों को अफगानिस्तान में कईं मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। वहीं इस आतंकी हमले ने काबुल में सिखों की शांति और सद्भाव की उनकी उम्मीदों को तोड़ दिया है।
सिरसा ने एक और ट्वीट किया जिसमें उन्होंने अफगानिस्तान के सिखों की मजबूरियों को बयान किया है। सिरसा ने लिखा- मैं ISIS द्वारा गुरुद्वारा परवान साहिब पर हुए इस आतंकी हमले की निंदा करता हूं। ISIS का अफगानिस्तान में अल्पसंख्यक सिखों पर हमला करने का इतिहास रहा है। सिखों पर इस्लाम स्वीकार करने का दबाव डाला जा रहा है। वहीं पहले ही गुरुद्वारे पर हमले करने की धमकी दी गई थी। सभी देशों को सिखों पर हो रहे आंतकी हमलों के विरोध में एक साथ खड़ा होना चाहिए।
2020 में गुरुद्वारे पर हमले में 25 लोगों की जान गई थी-
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि 25 मार्च 2020 को ISIS-हक्कानी नेटवर्क के बंदूकधारी और फिदायीन हमलावरों ने काबुल में गुरुद्वारा हर राय साहिब पर हमला किया था। तब गुरुद्वारा में करीब 200 लोग मौजूद थे, जिसमें से 25 लोगों की मौत हुई थी। मरने वालों में एक बच्चा भी शामिल था। हमले में 8 लोग घायल हुए थे। इस हमले में जितने भी आतंकी शामिल थे, वो सब मारे गए थे।