राज्य के 1987 में गठन होने के बाद के आर्थिक संघषों तथा चीन के साथ 1962 के युद्ध की चर्चा करते हुए अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू ने बुधवार को राज्य की जलविद्युत क्षमता पर जोर देते हुए इसकी मदद से राज्य को देश के प्रगतिशील राज्य में बदलने पर जोर दिया। 72वें स्वतंत्रता दिवस पर लोगों को बधाई देते हुए खांडू ने कहा, “हालांकि हमारे राज्य में पर्याप्त संभावनाएं हैं, खासकर प्राकृतिक संसाधन के मामले में, फिर भी हम दूसरे राज्यों से पिछड़े हुए हैं।” खांडू ने राज्य की आर्थिक परेशानियों के कारणों को गिनाते हुए कहा, “1962 के भारत-चीन युद्ध के दौरान हमें काफी कुछ सहना पड़ा और उसकी यादें अभी भी ताजा है। हमें आजादी के 40 साल बाद 1987 में पूर्ण राज्य का दर्जा मिला।” मुख्यमंत्री ने तिरंगा फहराते हुए कहा, “हमने जलविद्युत में राज्य की क्षमता को 40 साल पहले महसूस कर लिया जाता तो आज हम देश के सबसे बड़े बिजली उत्पादक होते।” उन्होंने कहा, “अब हम तेज रफ्तार से बढ़ रहे हैं और मैं आश्वस्त हूं कि अगले पांच सालों में हमारा राज्य देश के सबसे विकसित राज्यों में से एक होगा।”