जिला विकास आयुक्त सचिन कुमार वैश्य ने जिले में कौशल विकास गतिविधियों का आकलन करने हेतु एक बैठक की अध्यक्षता की। बैठक, जिसमें कौशल प्रशिक्षण, उद्यमिता विकास और अन्य पहलों में शामिल विभिन्न विभागों, संस्थानों और संगठनों के प्रतिनिधि शामिल थे, का उद्देश्य बेहतर कार्यान्वयन और सार्वजनिक लाभ के लिए अपने प्रयासों को संरेखित करना और उन पर ध्यान केंद्रित करना था। बैठक में लगभग 12,500 कौशल विकास प्रशिक्षण अवसर प्रदान करने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य निर्धारित किया गया।
डीडीसी ने पात्र युवाओं और वयस्कों को कौशल प्रशिक्षण और स्वरोजगार के अवसर प्रदान करने के महत्व पर जोर देते हुए प्रत्येक संगठन को विशिष्ट लक्ष्य सौंपे। प्रतिभागियों में ग्रामीण विकास विभाग, पीएम महिला शक्ति केंद्र, उद्योग विभाग, रोजगार और परामर्श विभाग, एसबीआई, आरएसईटीआई, हथकरघा विभाग, जेकेईडीआई, केवीआईबी, सरकारी पॉलिटेक्निक और औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान और अन्य के अधिकारी शामिल थे।
सभा को संबोधित करते हुए, डीडीसी ने जिले के विकास में ग्रामीण और सीमावर्ती आबादी की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया। उन्होंने इन समुदायों की भौगोलिक स्थिति की परवाह किए बिना जनपहंच प्रयासों को सुविधाजनक बनाकर उनका समर्थन करने की प्रतिबद्धता व्यक्त की।बैठक का विशेष फोकस महिला सशक्तिकरण था।
डीडीसी ने महिलाओं की प्रतिभा और प्रगतिशीलता की सराहना की और उन्हें अर्थव्यवस्था में भाग लेने और सम्मानजनक आजीविका सुरक्षित करने के लिए समान अवसर प्रदान करने की आवश्यकता पर बल दिया।इस अवसर पर सहायक उपायुक्त संदीप सेइंत्रा, सहायक आयुक्त विकास प्रीति शर्मा, अग्रणी जिला प्रबंधक एसबीआई, सरकारी पॉलिटेक्निक कॉलेजों और औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों के प्राचार्यों तथा सम्बंधित अधिकारी भी उपस्थित थे।