वित एवं योजना, सूचना प्रौद्योगिकी, कानून एवं न्याय राज्यमंत्री अजय नंदा ने आज कहा कि सरकार जम्मू तथा बाहरी राज्य में विभिन्न बस्तियों, शिविरों तथा कालौनियों में रहने वाले कश्मीरी विस्थापित परिवारों को चिकित्सा बीमा प्रदान करेगी जिससे उन्हें अपने क्षेत्र में आधुनिक स्वास्थ्य सुविधाएं बिना किसी परेशानी के उपलब्ध हों।मंत्री ने यह बात आज कश्मीरी विस्थापित परिवारों से सम्बंधित मुददों पर चर्चा हेतु आयोजित अधिकारियों की एक उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता करते हुए कही।विधायक सुरिन्द्र मोहन अम्बरदार तथा गिरधारी लाल रैना, स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा के प्रमुख सचिव डॉ. पवन कोतवाल, राहत एवं पुनर्वास सचिव तलत परवेज, विस्थापित राहत आयुक्त जेएंडके एम.एल. रैना, राहत उपायुक्त के.के. सिद्धा, जेकेपीसीसी के महाप्रबंधक हरकेवल सिंह, एसई हाईड्रालिक जम्मू जगदीश सिंह चिब तथा सम्बंधित विभागों के अन्य वरिश्ठ अधिकारी भी बैठक में उपस्थित थे।नंदा ने कहा कि सरकार कश्मीरी तथा जम्मू विस्थापितों सहित राज्यों के पंजीकृत विस्थापितों हेतु एक चिकित्सा बीमा योजना शुरू करेगी। इस बीमा में राज्य के भीतर तथा बाहर राहत एवं पैंशन वर्ग के अंतर्गत पंजीकृत विस्थापितों को लिया जाएगा तथा उन्हें बिना किसी परेशानी के आधुनिक स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाएंगी।अधिकारियों को कश्मीरी विस्थापितों के कल्याण हेतु शुरू की गईं विभिन्न पहल तथा योजनाओं का उचित कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के निर्देश देते हुए मंत्री ने कहा कि सरकार विभिन्न कल्याणकारी योजनाएं बनाने में विस्थापितों के प्रतिनिधियों को शामिल करेगी जिससे विस्थापित परिवारों को सरकारी योजनाओं का अधिकतम लाभ होगा।विस्थापित शिविरों, कालौनियों में स्वास्थ्य सुविधाओं पर चर्चा करते हुए मंत्री ने अधिकारियों को विस्थापितों की सुविधा के लिए पीएचसी जगटी तथा पुरखू में डिजिटल एक्स-रे सुविधाएं रखने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि पीएचसी जगटी को एक नई एम्बूलैंस भी उपलब्ध करवाई जाएगी। विस्थापित शिविरों विषेशकर पुरखू में सुरक्षित पेयजल उपलब्ध करवाने सम्बंधित मंत्री ने सम्बंधित अधिकारियों को शीघ्र कुएं की डिसिल्टिंग करने के निर्देश दिये। उन्होंने शिविरों में स्वच्छता बनाये रखने के निर्देश भी दिये जिसके लिए ‘स्वच्छ भारत अभियान’ के अंतर्गत पर्याप्त राशि उपलब्ध करवाई गई है।