ऊना के अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायधीश अमन सूद की अदालत ने मैहतपुर के उद्योगपति विनोद जैन की हत्या के आरोप में 5 युवकों को दोषी करार देते हुए उम्रकैद और 25-25 हजार के जुर्माने की सजा सुनाई है। वहीं, देसी कट्टे से वारदात को अंजाम देने वाले आरोपी को 3 साल के अतिरिक्त कठोर कारावास और पांच हजार रुपये जुर्माने की सजा भी सुनाई गई है। वहीं, मामले के एक आरोपी को सबूतों के अभाव के चलते कोर्ट ने बरी कर दिया है।पंजाब के फगवाड़ा निवासी उद्योगपति विनोद जैन की दो ऑयल मिल थीं। एक जम्मू में और दूसरी मैहतपुर में। जम्मू की मिल का काम वह स्वयं देखते थे, जबकि मैहतपुर में उसका ही रिश्तेदार प्रदीप गुप्ता बतौर मैनेजर काम कर रहा था। मिल में सरसों का तेल निकलने के बाद जो भी खल बनती थी, उसकी सप्लाई दुकानों को की जाती थी, लेकिन प्रदीप गुप्ता ने उस खल के पैसे का कोई हिसाब नहीं दिया, जिसके चलते विनोद जैन मार्केट में करीब 25 से 30 लाख रुपये का कर्जदार हो गया था। विनोद जैन उसी खाते को क्लीयर करने के लिए प्रदीप गुप्ता पर दबाव बना रहा था, जिसके चलते प्रदीप ने विनोद को ठिकाने लगाने का मन बनाया। उसने इस बारे में अपने चालक और बहडाला निवासी अनिल कुमार उर्फ सेठू से बात की।
सेठू ने बाथू निवासी अरुण कुमार से बात की, अरुण ने इस मामले को लेकर रक्कड़ कॉलोनी निवासी सुनील कुमार उर्फ झरना से संपर्क किया। फिर सभी ने मिल कर देहलां निवासी राजीव कौशल से मुलाकात कर पूरा प्लान तैयार किया।राजीव कौशल ने उत्तर प्रदेश के शामली जिले के इस्लामपुर निवासी नरेंद्र कुमार से संपर्क किया। नरेंद्र पर आरोप था कि उसी ने हत्या में प्रयोग किया गया देसी कट्टा उपलब्ध करवाया था। प्रदीप गुप्ता और अन्य दोषियों में विनोद जैन की हत्या के लिए दो लाख रुपये में कॉन्ट्रैक्ट हुआ। करीब 40 हजार रुपये का भुगतान भी कर दिया गया था। हिमाचल के पहले कॉन्ट्रैक्ट किलिंग केस में एडीजे-2 अमन सूद की अदालत ने पांच आरोपियों को उम्रकैद की सजा सुनाई है। जबकि एक आरोपी को साक्ष्यों के आभाव में बरी कर दिया गया है। मामले की पैरवी उपजिला न्यायवादी संजय पंडित ने की। मामले की जानकारी देते हुए संजय पंडित ने बताया कि 14 फरवरी 2013 को मैहतपुर स्थित जैन ऑयल मिल के बाहर मिल के मालिक विनोद जैन की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। प्रारंभिक जांच में ही पुलिस ने मिल के मैनेजर और विनोद जैन के रिश्तेदार प्रदीप गुप्ता और उसके चालक अनिल कुमार सेठू को हिरासत में लेकर मामले का पटाक्षेप कर दिया था, जिसके बाद चार और आरोपियों की गिरफ्तारी की गई थी। वहीं, मृतक विनोद जैन की पत्नी बबिता जैन ने कहा कि कानून पर उन्हें भरोसा था, अदालत के फैसले से उन्हें न्याय मिला है, वहीं बबिता ने अपने पति को गोली मारकर मौत के घाट उतारने वाले को फांसी की सजा दिलाने के लिए हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने का दावा किया है।