हरियाणा कांग्रेस विधायक दल की नेताकिरण चौधरी ने कहा कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व की भाजपा सरकार द्वारा अपनाई गई सभी नीतियां और कार्यक्रम असफल रहे हैं चाहे वह बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ हो, महिलाओं के खिलाफ अपरोध रोकना हो या फिर नवजात बच्चों की हत्या के मामले हो, आंकड़े दर्शाते हैं कि प्रदेश सरकार में स्थिति सुधरने के बजाय और बिगड़ गयी है।उन्होंने कहा तथ्य अपने आप में बयान करते हैं कि भाजपा सार्वजनिक संबंध बनाने में ज्यादा प्रयास करती आ रही है बजाय प्रदेश की स्थिति को सुधारने के लिये उठाये जाने वाले प्रयासों के। इन सब से ज्यादा, मां और नवजात शिशुओं के मौत के आंकडों को 100 प्रतिशत कम दर्शाना जिससे जनता को लगे सब कुछ ठीक है, यह सब जनता के साथ छल नही तो और क्या है।
यहां जारी एक बयान में पूर्व आबकारी एवं कराधान मंत्री ने कहा कि बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ अभियान के बावजूद जन्म के समय मृत्यु की घटनाओं में आज भी कोई सुधार नहीं आया और प्रदेश में बेटियों के साथ आज तक भी भेदभाव हो रहा है।उन्होंने बताया जून 2014 और जून 2015 के लिये दिये गये सरकारी आंकड़ों से यह स्पष्ट होता है कि राज्य के छह जिलों में बेटियों के जन्म के आंकड़ों में गिरावट दर्ज की गयी है। मुख्यमंत्री जी द्वारा लड़कियों के जन्म की संख्या का लक्ष्य एक वर्ष में 950 तक करना है परंतु इस वर्ष यह संख्या 874 के बजाय 869 हो गयी है और ऐसी स्थिति में सरकार अपना लक्ष्य कैसे पूरा करेगी।आंकड़ों के बारे में विस्तार से बताते हुए उन्होंने कहा कि सिरसा में 1000 लड़कों के मुकाबले 2014 में 890 लड़कियां दर्ज की गई थी परंतु 2015 में यह स्तर गिरकर केवल 877 हो गया है। साथ ही रोहतक में यह 889 से 852 तक आ गया है, फरीदाबाद में यह 890 से 848 रह गया है, जींद में 902 से केवल 862 हो गया है, कुरुकक्षेत्र में 888 से घटकर 862 हो गया, अंबाला में 902 से 888, गुड़गांव में 839 से 812, कैथल में 918 से 893, करनाल में 896 से 894 और पानीपत में 914 से 901 तक रह गया है। चौधरी ने बताया कि इसके मुकाबले कुछ ही जिलें हैं जहां थोड़ा सुधार देखा गया है।
बहरहाल, नवजात शिशुओं की मौत पर कांग्रेस नेता ने कहा कि राज्य में 3307 शिशुओं की मौत हुई है परंतु जिला अधिकारियों द्वारा राज्य और केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय को सौंपी गयी रिपोर्ट में केवल 728 की मृत्यु का ही उल्लेख किया गया है। उन्होंने बताया यहां तक कि 145 मातृ-मृत्यु के बजाय केवल 21 का ही वर्णन किया गया, जो कि अनौपचारिक है।अपने बयान ने कांग्रेस नेता ने कहा कि महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामलों में महिला राष्ट्रीय आयोग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार हरियाणा तीसरे स्थान पर है।सरकार से मांग करते हुए चौधरी ने कहा कि भाजपा सरकार को अपनी योजनाओं और नीतियों पर पुनः विचार करना चाहिये और प्रदेश में सुधार लाना चाहिये न केवल जनता को अपने झूठे वादों से बहकाना चाहिये।