आम आदमी पार्टी ने पंजाब के राज्यों में होने वाले विवाह के खर्च को सीमित (कंट्रोल) करने के लिए पंजाब विधान सभा के आगामी बजट सैशन में एक प्राईवेट मैंबर बिल को पेश किया है।यह उक्त बिल खरड़ से विधायक कंवर संधू ने पेश किया, जो 2017 की पंजाब विधान सभा चुनाव के लिए पार्टी के मैनीफैस्टो टीम के चेयरमैन भी थे। इस बिल की कापी पिछले हफ्ते सचिव, विधान सभा में भेजी गई थी और अब यह देखना होगा कि इसको सैशन में लाया जाता है या नहीं। संधू द्वारा पेश किये गए बिल अनुसार विवाहित जाने वाले लडक़ा-लडक़ी परिवारों के 51-51 मेहमान ही विवाह में शामिल हो और शाकाहारी और मांसाहारी पकवान 3 से अधिक न होने। बिल अनुसार विवाह समागम जो कि मेहंदी, संगीत, बारात अनंद काज, लांवा, निकाह, विवाह और रिसैप्शन हो सकती है कि दौरान शराब पर पूर्ण पाबंदी होनी चाहिए। इसके साथ ही बिल में यह भी सिफारिश की गई है। यदि कोई इस की उलंघना करता है तो उसके खिलाफ सक्त कार्यवाही करते हुए आरोपी को 6 महीनों तक की कैद, 50 हजार से 10 लाख रुपए तक का जुर्माना भी किया जा सकता है।बिल के उपाय और कारणों में यह भी लिखा गया है कि यह बिल लाने का मकसद लोगों की आर्थिक मुश्किलों को कम करना है, खास करके किसानों के बढ़ रहे कर्जे को रोकना है, क्योंकि अब खेती एक लाभदायक पेशा नहीं रहा। आज किसानों के हालात ऐसे हैं कि किसानों सिर दिनों-दिन बढ़ रहा कर्ज उन (किसान -मजदूर) की कीमती जानें ले रहा है। कुछ किसान परिवार और शहरी क्षेत्रों में नौकरी पेशे वाले लोग और व्यापारी सिर्फ झूठी शोहरत दिखाने के लिए और विवाह में दिखावा करने के लिए खुल कर पैसा खर्च करते हैं। जिस के लिए वह लोन आदि ले कर अपने सिर फालतू कर्ज चढ़ा लेते हैं।
ऐसे हालतों में सरकार का समाज प्रति दखल उनको आर्थिक मुश्किलों से बाहर निकालेगा और उक्त लोगों को बड़ी वित्तीय और सामाजिक राहत प्रदान करेगी।संधू ने कहा कि प्राईवेट मैंबर बिल में यह भी सिफारिश की गई है कि विवाह और विवाह से सम्बन्धित कामों में फाइरिंग होने पर बहुत ही ज़्यादा तनाव पैदा हो जाता है। इस लिए यदि कोई व्यक्ति विवाह समागम में हथियार आदि के साथ फायरिंग करता है और इस दौरान कोई व्यक्ति जख्मी होता है तो उस आरोपी को कम से कम पांच साल और एक लाख रुपए जुर्माने की सजा दी जा सकती है, जो बढ़ा कर 10 लाख रुपए तक भी की जा सकती है और यदि आरोपी के हथियार के साथ कोई बेहद गंभीर जख्मी होता है तो उस की सजा उम्र कैद में भी तबदील की जा सकती है।प्राईवेट मैंबर बिल में यह भी कहा गया है कि जहां भी विवाह समागम का आयोजन किया जाता है वहां विवाह समागम के समाप्त होने उपरांत उस जगह की साफ-सफाई और फालतू कचरे को उठाने की जिम्मेदारी विवाह का आयोजन करने वाले की ही होगी। यदि इस तरह नहीं किया जाता तो आरोपी के खिलाफ सख्त कार्यवाही की जा सकती है।संधू ने अंत में यह भी बताया कि उनको इस बिल को पेश करने के लिए किस ने प्रेरित किया तो, संधू ने कहा कि विवाह के खर्चे को सीमित करने वाला ऐसा बिल समय की एक जरूरत है और निजी तौर पर ज़्यादातर राज्य के लोग इस तरह की जरूरतों की बात कर रहे हैं, परंतु किसी ने कानून बनाने की हिम्मत नहीं की। इस बिल सम्बन्धित सरकार का रवैया यह भी बतायेगा कि लोगों की भलाई और किसानों, खेत मजदूरों की आर्थिक हालातों को सुधारने के लिए कितनी गंभीर है?