प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को जर्मन चांसलर ओलाफ स्कोल्ज से मुलाकात की और समग्र रणनीतिक साझेदारी के साथ-साथ क्षेत्रीय और वैश्विक विकास जैसे मुद्दों पर सहयोग को लेकर चर्चा की। यह बैठक भारत और जर्मनी के बीच द्विवार्षिक अंतर सरकारी परामर्श (आईजीसी) के छठे दौर से पहले आयोजित की गई है। यूरोप दौरे के पहले चरण में बर्लिन पहुंचे प्रधानमंत्री मोदी को औपचारिक गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया और चांसलर स्कोल्ज ने उनका स्वागत किया। इसके बाद दोनों नेताओं ने आमने-सामने मुलाकात की, जिसके बाद प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता हुई। विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा, चर्चा में समग्र रणनीतिक साझेदारी के साथ-साथ क्षेत्रीय और वैश्विक विकास के तहत द्विपक्षीय सहयोग के प्रमुख क्षेत्रों को कवर किया गया।
इसके अलावा प्रधानमंत्री कार्यालय ने एक ट्वीट में कहा, भारत और जर्मनी के बीच अंतर-सरकारी परामर्श इस दोस्ती की विशेष प्रकृति को दर्शाता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चांसलर स्कोल्ज के अलावा भारत और जर्मनी के शीर्ष मंत्रियों ने बर्लिन में मुलाकात की। मोदी ने इससे पहले वाइस चांसलर और वित्त मंत्री की जिम्मेदारी संभाल रहे स्कोल्ज से पिछले साल जी20 के दौरान मुलाकात की थी। दिन की शुरूआत में मोदी बर्लिन पहुंचे, जो कि जर्मनी, डेनमार्क और फ्रांस की तीन देशों की यात्रा में उनका पहला पड़ाव है। जर्मन राजधानी में उतरने के तुरंत बाद, मोदी ने ट्वीट किया, बर्लिन में उतर चुका हूं। आज (सोमवार) मैं चांसलर स्कोल्ज और व्यापारिक नेताओं के साथ बातचीत करूंगा और एक सामुदायिक कार्यक्रम को संबोधित करूंगा।
मुझे विश्वास है कि यह यात्रा भारत और जर्मनी के बीच दोस्ती को बढ़ावा देगी। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा, इस साल अपनी पहली विदेश यात्रा पर गए पीएम नरेंद्र मोदी का बर्लिन में गर्मजोशी से स्वागत हुआ। भारत-जर्मनी रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने, हमारे व्यापक सहयोग को आगे बढ़ाने और बहुपक्षीय समन्वय को बढ़ाने के लिए तत्पर हैं। वहां पहुंचने के बाद भारतीय समुदाय के कई लोग आगे आए और प्रधानमंत्री का स्वागत किया। मोदी ने एक ट्वीट में कहा, उनके साथ जुड़ना अद्भुत रहा। भारत को अपने प्रवासी भारतीयों की उपलब्धियों पर गर्व है।