युनिवर्सल गु्रप आफ इंस्टीट्यूशंस में दो दिन का स्व रोजग़ार जागरूकता कैंप का आयोजन किया गया। इस मौके पर शिक्षा क्षेत्र और व्यापार जगत के साथ जुड़ी कई शख़्सियतों ने ख़ास तौर पर शिरकत करते हुए विद्यार्थियों को शिक्षा पूरी होते ही अपने रोजग़ार के मौके पैदा करन के तरीकों की जानकारी सांझी की। अमरदेव सिंह , असिस्टेंट प्रोफेसर , एनआईटीटीटीआर चंडीगढ़ ने उपस्थित विद्यार्थियों के साथ विचार सांझे करते हुए कहा कि तेज़ी के साथ विश्व की बदल रही प्रति स्थितियों के मद्दे नजऱ आज एक व्यवसायी के तौर पर स्थापित होने में ज़्यादा बेहतरीन मौके हैं। परन्तु उस के साथ ही उस व्यापार स बन्धित सही जानकारी होना भी लाजि़मी हो जाता है। किसी भी काम को शुरू करन से पहले एक उद्योगपति की सोच होना बहुत ज़रूरी है। और डॉ. दीपिका झाम्ब, एसोसिएट प्रोफेसर,चितकारा विश्वविद्यालय ने कहा कि एक व्यापारी पहला अपनी सोच को एक खोज पर ले कर जाता है और में उस खोज को सही दिशा देते हुए एक सफल व्यापारी बनता है। परन्तु इस के साथ ही यह भी ज़रूरी है कि वह खोज और सोच ज़मीनी हकीकत के साथ जुड़ी, आसान, सफल पूरक और माप योग्य होनी चाहिए।युनिवर्सल गु्रप के चेयरमैन डा. गुरप्रीत सिंह ने क्वविद्यार्थियों को संबोधन करते हुए कहा कि एक व्यवसायी या उद्योगपति सदा अपनी आँखें और कान खुले रखता है और हमेशा कुछ नया सीखने में विश्वास रखता है। इस के साथ ही उन कहा कि कोई भी हालात हो फिर भी एक रास्ता सफलता की और जरूर लेकर जाता है बस उसे सही तरीको साथ पहचानने की ज़रूरत होती है। चेयरमैन डा. गुरप्रीत सिंह ने विद्यार्थियों नौकरी ढूँढने की बजाय नौकरी पैदा करन वाले व्यवसायी के तौर पर स्थापित होने की प्रेरणा दी।