ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज मंत्री अब्दुल रहमान वीरी ने आज आरईडब्ल्यू विभाग के अभियंताओं से वर्तमान विŸा वर्श के कार्यों की अनुमान प्रक्रिया को यथाशीघ्र पूरा करने के लिए कहा ताकि मनरेगा के अंतर्गत कार्य योजना के अनुसार कार्यों को किया जा सके। मंत्री ने ये निर्देश मनरेगा के अंतर्गत वर्श 2018-19 के लिए मंजूर आकलनों की प्रगति की समीक्षा हेतु रूरल इंजीनियरिंग विंग के अभियंताओं के साथ आयोजित एक बैठक की अध्यक्षता करते हुए दिये। आरडीडी सचिव शीतल नंदा, आरडीडी विŸा निदेशक एस एल पंडिता, आरडीडी निदेशक कश्मीर एम एन शेख, संयुक्त निदेशक योजना आरडीडी, जम्मू, कश्मीर के अधीक्षक अभियंता तथा दोनों संभागों के कार्यकारी अभियंता बैठक में उपस्थित थे। बैठक के दौरान मंत्री ने वर्तमान विŸा वर्श के लिए कार्यक्रम के अतंर्गत लिये जाने वाले कार्यों के लिए तैयार कार्य योजना तथा अब तक पूरे किये गये अनुमान की जिला अनुसार जानकारी मांगी।
बैठक में यह बताया गया कि कार्यकारी अभियंताओं को जिलों के लिए कार्य योजना की प्रति उपलब्ध नही करवाई गई है तथा आरडीडी के दोनों निदेशकों से उन्हें समय पर प्रतियां उपलब्ध करवाने के लिए कहा गया ताकि अनुमानों की मंजूरी के लिए यथा अनुसार कार्य किये जा सके। वीरी ने प्रशासनिक विभाग तथा इंजीनियरिंग विंग के बीच गहरे तालमेल की आवश्यकता पर बल दिया ताकि योजनाओं तथा कार्यक्रमों को जमीनी स्तर पर लागू किया जा सके। उन्होंने कहा कि अभियंताओं को अपनी भूमिका और जिम्मेदारी समझने की आवश्यकता है तथा उनहें यह सुनिश्चित करना होगा कि उन्हें केवल अपनी कार्यों तक ही सीमित रहना है बल्कि कार्यों की निगरानी में योगदान देने हेतु स्थलों का दौरा भी करना है ताकि लोगों के लिए टिकाऊ सम्पतियों का निर्माण हो सके। आरडीडी सचिव ने कार्यकारी अभियंताओं से आधुनिक प्रौद्योगिकी के साथ कार्य करने के लिए कहा ताकि मनरेगा कार्यक्रम को पूर्ण रूप से लागू किया जा सके। उन्होंने कहा कि तकनीकी हस्तक्षेपों के साथ अभियंताओं को नई संभावनाओं और नवाचारों पर विचार करना चाहिए जिसका उपयोग कार्यक्रम के अंतर्गत किया जा सकता है तथा इससे ग्रामीण लोगों को अधिकतम लाभ होगा।