पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के मुताबिक भारतीय किसान यूनियन के शिष्टमंडल ने पांच गांव की बदहाल सड़क व पुलिया की गंभीर समस्या को लेकर डीसी से भेंट की। शिष्टमंडल ने डीसी के कैम्पस ऑफिस पहुंच कर इस समस्या को जोरदार ढ़ंग से उठाते हुए डीसी बलराज सिंह को ज्ञापन सौंपा। इससे पूर्व भाकियू पदाधिकारियों ने जोरदार नारेबाजी करते हुए चेतावनी दी। अगर ज्ञापन में लिखित दो मांगों को 9 फरवरी तक स्वीकार नही किया गया तो इसी दिन गांव ढ़ाकवाला के राजकीय स्कूल में किसान पंचायत आहूत की जाएगी। जिसमें मेरठ रोड को जाम करने का निर्णय भी लिया जा सकता है। भाकियू के शिष्टमंडल का नेतृत्व जिलाध्यक्ष बाबू राम बड़थल ने किया। डीसी बलराज सिंह ने स्व्य कैंपस ऑफिस से बाहर आकर किसानों की मांगो को ध्यान पूर्वक सुनते हुए ज्ञापन ग्रहण किया ओर किसानों को आश्वस्त करते हुए कहा कि किसानों की इन मांगो का जल्द समाधान कर दिया जाएगा।
भाकियू के वरिष्ठ किसान नेता रतनमान ने ज्ञापन में लिखित 2 मांगो का उल्लेख करते हुए कहा कि शासन व प्रशासन की अनदेखी के चलते ढ़ाकवाला रोडान, ढ़ाकवाला गुजरान, ढ़ाकवाला राजपूतान, मोहीद्ीन पुर, जम्भूखाला व मुस्फाबाद गांव के ग्रामीणों को रेत से बनाए गए कच्चें रास्तों पर से कलेजे पर हाथ रख कर निकलने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। किसान नेता मान ने कहा कि गत वर्ष की 13 फरवरी की रात्री के समय सहकारी शुगर मिल गन्ना यार्ड में अजायब सिंह नामक एक कर्मचारी ने किसान चांदवीर के शिर पर अकारण ही लौहे की राड़ मार कर बुरी तरह से घायल कर दिया था। जिसकों लेकर भाकियू ने जबरदस्त आंदोलन करते हुए इस कर्मचारी के विरूद्व विभागीय जांच करने की मांग की थी। इस मांग को स्वीकार करते हुए तत्कालीन मिल प्रशासक ने आरोपी कर्मचारी के विरूद्व जांच अधिकारी नियुक्त किया था। जांच का कार्य भी पूरा हो चुका है। लेकिन मिल प्रबंधन जांच रिपोर्ट को दबाए हुए बैठा है। जिसकों लेकर किसानों में भारी रोष है।
मान ने कहा कि मुख्यमंत्री की ओर से बार-बार अधिकारियों को दिए जा रहे जन हिनैषी निर्देशों का असर दिखाई नही पड़ रहा है। जिसकी वजह से मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुडडा की उदारवादी नीतियों को अधिकारी हवा में उड़ा रहे है। ऐसे अधिकारियों को भाकियू बेनकाब करेंगी। इस अवसर पर भाकियू रोहतक मंडलाध्यक्ष प्रेमचंद शाहपुर, महासचिव श्याम सिंह मान, जिला प्रवक्ता सुरेन्द्र सांगवान, उपाध्यक्ष श्याम सिंह गुर्जर, सचिव ओमपाल ढ़ाकवाला रोड़ान, यशपाल राणा, राम सिंह मोहीदीन पुर, सुनील चोपड़ा, सन्नी, निरंजन सिंह, संजय नम्बरदार, ज्ञान सिंह, अनिल कुमार, मोती राम, अमर सिंह, प्रभू दयाल, ऋषि, दिनेश सांगवान, रविंद्र, रामचंद्र, सहित काफी संख्या में ग्रामीण मौजूद थे।