पंजाब में किसी दलित को उपमुख्यमंत्री बनाने का झांसा देने वाले आम आदमी सुप्रीमो अरविंद केजरीवाल ने अपना दोगला चरित्र दिखा दिया है। शुक्र है बहाने से ही सही केजरीवाल को दलितों की याद तो आई।शिरोमणि अकाली दल के प्रवक्ता और उपमुख्यमंत्री सुखबीर बादल के सलाहकार मनजिंदर सिंह सिरसा ने यह तंज केजरीवाल पर कसा है। सिरसा ने कहा कि आदमपुर में अपनी रैली में तीन महीने बाद किसी दलित को उपमुख्यमंत्री बनाने का सपना दिखाने वाले केजरीवाल की अपनी कैबिनेट तक में कोई दलित नहीं है। उपमुख्यमंत्री बनाना तो दूर की बात। अगर केजरीवाल को दलितों की इतनी ही चिंता है तो पहले वह दिल्ली में किसी दलित को उपमुख्यमंत्री बनाएं और फिर पंजाब में दलित को उपमुख्यमंत्री बनाने का दावा करें।
सिरसा ने कहा कि असल में दिल्ली वासियों की बढ़ती बेरुखी और पंजाब में शिरोमणि अकाली दल के बढ़ते प्रभाव से घबराए केजरीवाल अपना दिमागी संतुलन गंवा बैठे हैं। कभी वह शिरोमणि अकाली दल की कांग्रेस से गठबंधन की बात करते हैं तो कभी वह उम्मीदवारों से पार्टी टिकट के लिए पैसों की मांग करने लगते हैं। उनके मानसिक दिवालियेपन की हालत यह है कि उन्होंने प्रधानमंत्री तक को नहीं बख्शा है। उन्होंने कहा कि केजरीवाल को न तो पंजाब की भौगोलिक परिस्थितियों का अंदाजा है और न ही उन्हें पंजाब की रवायतों से ही कोई सरोकार है। केजरीवाल पंजाब के चंद सिरफिरे नेताओं के बूते बाघ की सवारी करने के सपने देख रहे हैं। लेकिन पंजाब के लोग उन्हें ऐसा सबक सिखाएंगे कि वह दोबारा पंजाब का रुख नहीं करेंगे।