5 Dariya News

उपराज्यपाल ने श्रीनगर में ‘सुशासन के साथ पंचायत‘ पर तीन दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला के उद्घाटन सत्र को संबोधित किया

ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री गिरिराज सिंह सम्मेलन में शामिल हुए

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श्रीनगर 21-Aug-2023

उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने ‘सुशासन के साथ पंचायत‘ पर 3 दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला के उद्घाटन सत्र को संबोधित किया।केंद्रीय ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री गिरिराज सिंह सम्मेलन में शामिल हुए।इस अवसर पर एक एकीकृत एम-गवर्नेंस प्लेटफॉर्म ‘‘मेरी पंचायत ऐप‘‘ भी लॉन्च किया गया।

केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने जम्मू-कश्मीर में त्रिस्तरीय पंचायती राज व्यवस्था को मजबूत करने के प्रयासों के लिए केंद्र शासित प्रदेश प्रशासन की सराहना की।उन्होंने कहा कि ‘‘मेरी पंचायत‘‘ ऐप जैसी पहल ग्रामीण भारत को सशक्त बनाने के लिए सुशासन और डिजिटल भारत का नया रूप है।

अपने संबोधन में उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने देश भर से आए पंचायत प्रतिनिधियों, हितधारकों और विशेषज्ञों का जम्मू कश्मीर में स्वागत किया।उन्होंने कहा कि तीन दिनों में सतत विकास लक्ष्यों के स्थानीयकरण के साथ अनुकरणीय रणनीतियों, अभिसरण कार्यों और सर्वोत्तम प्रथाओं पर विचार-विमर्श पंचायत स्तर पर शासन को अधिक प्रभावी और कुशल बना देगा।

‘‘माननीय प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने हमें ‘ग्राम उदय से भारत उदय‘ का दृष्टिकोण दिया है और देश की नियति को बदलने के लिए ग्रामीण क्षेत्रों की असीमित क्षमता और संभावनाओं को साकार करना हमारा ईमानदार प्रयास होना चाहिए।‘‘उपराज्यपाल ने सभी स्तरों पर उत्तरदायी, समावेशी, भागीदारी और प्रतिनिधि निर्णय लेने की प्रक्रिया सुनिश्चित करने हेतु पिछले तीन वर्षों में यूटी सरकार के प्रयासों को साझा किया।

उपराज्यपाल ने कहा, “गाँवों में बदलाव लाकर और उन्हें आत्मनिर्भर बनाकर सतत विकास लक्ष्य हासिल किए जा सकते हैं। पीआरआई को सशक्त, मजबूत बनाना और विकास पहल में उनकी बढ़ती भागीदारी सुनिश्चित करना हमारा दृढ़ संकल्प है। उन्होंने कहा, हम पंचायतों को आर्थिक गतिविधियों और समृद्धि के केंद्र में बदलने का प्रयास कर रहे हैं।

विकास परियोजनाओं को लोगों की जरूरतों के अनुरूप आगे बढ़ाकर तेज गति से पूरा किया जा रहा है। बुनियादी ढांचे का विकास ग्रामीण और शहरी जम्मू-कश्मीर के बीच की खाई को पाट रहा है और परियोजनाओं के समय पर पूरा होने से पता चलता है कि हमारा ग्रामीण समाज समृद्ध हो रहा है और विकास समावेशी और टिकाऊ है।

उपराज्यपाल ने लोगों और सभी हितधारक विभागों से सुशासन के लिए पंचायत स्तर के संकेतकों पर मिलकर काम करने की भी अपील की। उन्होंने कहा कि सरकार समावेशी विकास की ठोस नींव को मजबूत करने के लिए आवश्यक संसाधन सुनिश्चित करने के साथ-साथ कार्यान्वयन की जिम्मेदारी भी पंचायतों को दे रही है।

उपराज्यपाल ने कतार में अंतिम व्यक्ति के कल्याण और ग्रामीण आबादी के जीवन स्तर में सुधार के प्रति यूटी प्रशासन की प्रतिबद्धता दोहराई।उन्होंने कहा, हम प्रभावी और निर्बाध सार्वजनिक सेवा वितरण के साथ-साथ सभी गांवों की आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए सरकारी योजनाओं और कार्यक्रमों के लाभ हेतु आवश्यक कदम उठाने के लिए मिलकर काम कर रहे हैं।

ग्रामीण महिलाओं द्वारा स्थापित और संचालित स्व-रोजगार योजनाओं और स्व-सहायता समूहों में ग्रामीण समाज को आत्मनिर्भर बनाने और जमीनी स्तर पर रोजगार और स्व-रोजगार के अधिक अवसर पैदा करके घरेलू आय बढ़ाने की अपार संभावनाएं हैं।उन्होंने कहा कि गरीबों की आवास जरूरतों को पूरा करने के लिए हमने भूमिहीनों को जमीन और पक्का मकान उपलब्ध कराने की ठोस पहल की है।

केंद्रीय पंचायती राज राज्य मंत्री कपिल मोरेश्वर पाटिल ने अपने संबोधन में सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करने की दिशा में सभी हितधारकों के सामूहिक प्रयासों पर जोर दिया।इस अवसर पर पीआरआई के लिए राष्ट्रीय क्षमता निर्माण ढांचे के संचालन दिशानिर्देश और जल आपूर्ति और स्वच्छता के लिए ग्राम पंचायतों के लिए सेवा स्तर के बेंचमार्क और मॉडल अनुबंध भी जारी किए गए।

इस अवसर पर, डीडीसी अध्यक्ष, उपराज्यपाल के सलाहकार राजीव राय भटनागर, केंद्रीय सचिव पंचायती राज सुनील कुमार, आयुक्त/सचिव ग्रामीण विकास और पंचायती राज विभाग मनदीप कौर तथा जम्मू-कश्मीर और देश भर से पीआरआई सदस्य उपस्थित थे।