5 Dariya News

रतन ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूशंस में दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यक्रम 'ज्ञानोत्सव-2023' का आयोजन किया गया

उतरी भारत की सभी यूनिवर्सिटीज के वाईस चांसलर और एक हज़ार कर करीब शिक्षक और छात्रो ने हिस्सा लिया

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मोहाली 09-Apr-2023

रतन ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूशंस, सेक्टर ७८  में  शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास पंजाब प्रान्त और रतन ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूशंस मोहाली के संयुक्त तत्वावधान में  ‘राष्ट्रीय शिक्षा नीति से आत्मनिर्भर भारत’ विषय पर दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यक्रम 'ज्ञानोत्सव-2023' का आयोजन  किया गया ।इस कार्यक्रम के पहले  दिन स्कूली शिक्षा पर  चर्चा  की गयी, जबकि दूसरा दिन उच्च शिक्षा को समर्पित रहा । 

पहले दिन के  कार्यक्रम के मुख्य अतिथि पंजाब केंद्रीय विश्वविद्यालय, बठिंडा के कुलपति प्रो. राघवेन्द्र प्र. तिवारी थे। जब कि हिमाचल प्रदेश केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलाधिपति प्रो. हरमोहिंदर सिंह बेदी व पूर्व कुलपति प्रो. कुलदीप चंद अग्निहोत्री, पंजाब टेक्निकल यूनिवर्सिटी जालंधर के कुलसचिव डॉ. एस.के. मिश्रा, शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास के दक्षिण भारत के संयोजक श्री ए विनोद, शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास के उत्तरी क्षेत्र के संयोजक भाई जगराम खास मेहमान थे ।  

पहले दिन के कार्यकर्म में पंजाब राज्य के विभिन्न प्रतिष्ठित शैक्षणिक संस्थानों से कुलपतियों, निदेशकों, प्रिंसिपल समेत छह सौ के करीब लोगो ने हिस्सा लिया ।  इस दौरान  प्रतिभागियों ने विभिन्न विशेषज्ञों के विचार सुने और सम्बंधित मुद्दों पर  प्रश्न पूछते हुए अपनी जिज्ञासाओं को शांत किया।

प्रो. राघवेन्द्र तिवारी ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति – 2020 के माध्यम से भारत को आत्मनिर्भर बनाने के विभिन्न आयामों पर चर्चा करते हुए इस नवीन शिक्षा नीति पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा विद्यार्थियो को राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन से मिलने वाले विकल्पों का लाभ उठाना चाहिए। डॉ कुलदीप चंद अग्निहोत्री  मातृभाषा के विकास विषय पर बोलते हुए मातृभाषा के महत्व पर प्रकाश डाला। 

डॉ मनोज तेवतिया ने पर्यावरण संरक्षण से आत्मनिर्भर भारत पर अपना विचार रखा। डॉ नित्या शर्मा ने अपने वक्तव्य में अच्छे शिक्षक गुणों की चर्चा की ,जिससे भारत में आत्मनिर्भरता आ सकती है। सत्र में छात्र, अध्यापक, प्रिंसिपल, अभिभावक और विभिन्न स्थानों के डायरेक्टर के बीच चर्चा परिचर्चा गई। 

अंतिम सत्र में गुर विरजानंद गुरूकुल करतारपुर, सर्वहितकारी स्कूल तलवारा, बी एस एम आर्य स्कूल लुधियाना, अनमोल मेमोरियल सीनियर सेकेंडरी स्कूल ने अपनी सर्वोत्तम प्रस्तुति के द्वारा  नयी शिक्षा नीति 2020 की बारीकियों, आवश्यकताओं को बताया। इस आयोजन में पंजाब और चंडीगढ़ से लगभग 100 स्कूलों के अध्यापक और विद्यार्थियों ने भाग लिया।  

इस  कार्यक्रम में हिस्सा लेने वालो  को प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया।कार्यक्रम के दूसरा दिन उच्च शिक्षा को समर्पित रहा, जिसमें हिमाचल प्रदेश केंद्रीय विश्वविद्यालय धर्मशाला के कुलपति प्रो. सत प्रकाश बंसल ने कार्यक्रम के मुख्य अतिथि  थे । उन्होंने राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 की विस्तृत जानकारी देते हुए देश में इस के उच्च शिक्षा के क्षेत्र में क्रियान्वयन की चर्चा करते हुए हिमाचल प्रदेश केंद्रीय विश्वविद्यालय में इसको लागू किये जाने पर एक प्रस्तुति दी । 

इस दौरान महाराजा रणजीत सिंह पंजाब टेक्निकल यूनिवर्सिटी, बठिंडा के कुलपति प्रो. बूटा सिंह ने ‘पारंपरिक/ग्रामीण उद्योग से आत्मनिर्भर भारत’ विषयक प्रस्तुति दी।राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान, जालंधर के निदेशक डॉ. बिनोद कन्नोजिया ने इस कार्यक्रम में ‘समाधान-परक शोध से आत्मनिर्भर भारत’ विषयक एक प्रस्तुति दी। 

पंजाब विश्वविद्यालय चंडीगढ़ के डीन अकादमिक प्रो. संजय कौशिक ने ‘भारतीय प्रबंधन प्रणाली से आत्मनिर्भर भारत’ विषयक एक मंत्रमुग्ध कर देने वाली प्रस्तुति दी।  उन्होंने बताया कि किस प्रकार अध्यात्मिक एवं मानवीय प्रबंधन प्रणाली से भारत को आत्मनिर्भर बनाया जा सकता है।

इसी कड़ी में राष्ट्रीय तकनिकी शिक्षक प्रशिक्षण संस्थान (NITTTR) चंडीगढ़ के निदेशक डॉ. भोला राम गुर्जर ने ‘स्वायत शिक्षा से स्वावलंबी भारत’ विषय पर प्रस्तुति देते हुए कहा कि हमें विश्वविद्यालय, महाविद्यालय, विद्यालय ही नही बल्कि शिक्षक स्तर पर भी स्वायत होना होगा, जिससे कि शिक्षा के स्तर को हमारी पौराणिक प्रणाली की तरह बनाया जा सके। 

संत लोंगोवाल इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंजीनियरिंग (स्लाईट) संगरूर के प्रो. आर.के. मिश्रा ने वैदिक गणित के विभिन्न विभिन्न रोचक अनुप्रयोग साझा किए ।महर्षि बाल्मीकि संस्कृत विश्वविद्यालय, कैथल (हरियाणा) के कुलपति प्रो. रमेश सी. भरद्वाज ने  राष्ट्रीय शिक्षा नीति पर अपने विचार साझा करते हुए प्रतिभागियों को मंत्रमुग्ध किया ।  

गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी अमृतसर के कुलसचिव डॉ के एस काहलो और चंडीगढ़ मेडिकल कॉलेज के नेत्रचिकित्सा विभाग के अध्यक्ष डॉ. सुरेश कुमार विशेष रूप से कार्यक्रम में उपस्थित हुए। दो दिनों के कार्यक्रम में एक सौ से अधिक स्कूल, महाविद्यालय और विश्वविद्यालय के लगभग सात सौ विद्यार्थियों और एक सौ  से अधिक अध्यापकों ने भाग लिया।  

शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास की ओर से रतन ग्रुप ऑफ़ इंस्टिट्यूट के निदेशक  सुन्दर लाल अग्रवाल को श्रीफल और पौधे देकर विशेष धन्यवाद किया गया । कार्यक्रम के अंत में आयोजन का समापन राष्ट्र गान से हुआ।