राजीव गांधी का हत्यारा जेल से रिहा: कांग्रेस ने PM मोदी से पूछा- क्या यही राष्ट्रवाद है?

5 Dariya News

राजीव गांधी का हत्यारा जेल से रिहा: कांग्रेस ने PM मोदी से पूछा- क्या यही राष्ट्रवाद है?

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18-May-2022

सुप्रीम कोर्ट ने आज राजीव गांधी के हत्यारे एजी पेरारिवलन को रिहा कर दिया है। अब इस पर कांग्रेस नेताओं की प्रतिक्रिया आने लगी है। कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है। उन्होंने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए यह भी कहा कि इस सरकार में राजीव गांधी के हत्यारे को छोड़ दिया गया है, मोदी बताएं कि क्या यही राष्ट्रवाद है। हम सुप्रीम कोर्ट के फैसले से दुखी हैं।  तमिलनाडु के तत्कालीन गवर्नर बनवारी लाल पुरोहित और राष्ट्रपति के फैसला नहीं लेने की वजह से कोर्ट ने ये फैसला दिया है। आज देश के लिए दुखद दिन है। राजीव गांधी कांग्रेस के नेता नहीं देश के प्रधनमंत्री भी थे।

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि पेरारिवलन 30 साल से ज्यादा लंबे वक्त से जेल में बंद था। आर्टिकल 142 के तहत उसे रिहा कर दिया गया। इससे पहले 9 मार्च को सुप्रीम कोर्ट ने एजी पेरारिवलन को जमानत दे दी थी। अब उसे रिहा कर दिया गया है। 21 मई 1991 को पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की तमिलनाडु के श्रीपेरंबुदूर में हत्‍या हुई थी. 11 जून 1991 को पेरारिवलन को गिरफ्तार किया गया था। पेरारिवलन पर आरोप लगे कि हत्याकांड में जिस आत्मघाती जैकेट का इस्तेमाल हुआ था, उसमें लगने वाली बैटरी पेरारिवलं ने सप्लाई की थी। जांच हुई तो कोर्ट में साबित हो गया कि पेरारिवलन ने हत्या के मास्‍टरमाइंड शिवरासन को बैटरी खरीदकर दी थी. घटना के समय पेरारिवलन 19 साल का था. और अभी पिछले 31 सालों से सलाखों के पीछे है। 

क्या है आर्टिकल 142-

संविधान में सुप्रीम कोर्ट को अनुच्छेद 142 के रूप में खास शक्ति प्रदान की है, जिसके तहत किसी व्यक्ति को पूर्ण न्याय देने के लिए कोर्ट जरूरी निर्देश दे सकता है। संविधान के अनुच्छेद 142 के मुताबिक जब तक किसी अन्य कानून को लागू नहीं किया जाता तब तक सुप्रीम कोर्ट का आदेश सर्वोपरि होगा। इसके तहत कोर्ट ऐसे फैसले दे सकता है, जो लंबित पड़े किसी भी मामले को पूर्ण करने के लिए जरूरी हों। कोर्ट द्वारा दिए गए आदेश तब तक लागू रहेंगे जब तक कि इससे संबंधित प्रावधान को लागू नहीं कर दिया जाता है। आर्टिकल-142 के जरिए ही बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले में भाजपा के शीर्ष नेता लालकृष्ण आडवाणी और मुरली मनोहर जोशी के खिलाफ चल रहे केस को रायबरेली से लखनऊ स्थानांतरित किया गया था।कांग्रेस भले सुप्रीम कोर्ट के फैसले का विरोध कर रही है। लेकिन तमिलनाडु में DMK ने इस फैसले का स्वागत किया है। सत्ताधारी DMK के प्रवक्ता ए सरवनन ने इस फैसले को ऐतिहासिक बताया है। उन्होंने कहा कि ऐसा राज्य सरकार के प्रयासों से हुआ है। राहुल गांधी ने कहा था कि वह अपने पिता के हत्यारों को माफ कर रहे हैं, इस बात के लिए राहुल की प्रशंसा होनी चाहिए। उन्होंने ये अच्छा काम किया।