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पंजाब के मुख्य सचिव ने प्रधानमंत्री को कोविड-19 से निपटने के लिए राज्य के स्वास्थ्य अमलेे के पूरी तरह तैयार होने का भरोसा दिलाया

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चंडीगढ़ 02-Apr-2020

पंजाब के मुख्य सचिव करण अवतार सिंह ने आज प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भरोसा दिलाया कि राज्य का स्वास्थ्य अमला ख़तरनाक कोरोना वायरस के मुकाबले के लिए पूरी तरह तैयार है। वह प्रधानमंत्री द्वारा कोविड-19 संबंधी बुलाई गई सभी मुख्यमंत्रियों की वीडियो कॉन्फ्रेंस में हिस्सा ले रहे थे, जिसमें कैप्टन अमरिन्दर सिंह सी.डब्ल्यू.सी की मीटिंग के कारण शामिल नहीं हो सके।करण अवतार सिंह जिनके साथ पंजाब के डीजीपी दिनकर गुप्ता भी मौजूद थे, ने प्रधानमंत्री को बताया कि राज्य में कोविड-19 के फैलाव को रोकनेे के लिए व्यापक प्रबंध किये गए हैं। मुख्य सचिव ने यह भी बताया कि सिविल और पुलिस प्रशासन द्वारा कफ्र्यू को सख्ती से लागू करने को यकीनी बनाया जा रहा है जिससे लोग घरों में रहें और एक-दूसरे से सामाजिक दूरी बनाए रखते हुए स्वास्थ्य प्रोटोकोल का पालन करें।मुख्य सचिव ने श्री मोदी को बताया कि पंजाब के मुख्यमंत्री राज्यभर में स्थिति पर निजी तौर पर निगरानी रख रहे हैं और समूह डिप्टी कमीश्नरों को निर्देश दिया गया है कि वह जरूरी वस्तुओं और सेवाओं की उपलब्धता और आपूर्ति को यकीनी बनाएं जिससे कफ्र्यू के मद्देनजर लोगों को पेश आ रही मुश्किलों को कम किया जा सके। इसके अलावा रोजमर्रा के आधार पर स्थिति का जायजा लेने के लिए मुख्यमंत्री के नेतृत्व में एक मंत्री समूह का गठन किया गया है और तैयारियों का जायज़ा लेने और कोविड-19 के साथ जुड़े सभी मुद्दों के हल के लिए एक स्टेट कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है।इलाज के पहलूओं संबंधी बात करते हुए मुख्य सचिव ने श्री मोदी को बताया कि राज्य सरकार ने कोरोनावायरस के संदिग्ध और संक्रमित मरीजों को स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए ट्रशरी केयर सैंटरों और अस्पतालों का सहयोग लिया है। कोविड-19 के पॉजेटिव मरीजों की देखभाल के लिए फरीदकोट, अमृतसर और पटियाला के सरकारी मैडीकल अस्पतालों में 1380 बैडों और 101 वैंटीलेटरों की पहचान की गई है। उन्होंने प्रधानमंत्री को यह भी बताया कि अब तक 51 प्राईवेट लैबोरेटरियों को राज्य में कोरोना टेस्टिंग की आज्ञा दी गई है।

राज्य में कटाई के सीजन संबंधी प्रधानमंत्री को अवगत करवाते हुए करन अवतार सिंह ने कहा कि कुछ स्थानों पर कटाई शुरू भी हो गई है जिसके लिए किसानों को कुछ ढील दी जा रही है। उनको कटाई के समय एक -दूसरे से सामाजिक दूरी बनाए रखने के लिए कहा गया है।मुख्य सचिव ने कहा कि मौजूदा स्थिति के मद्देनजऱ राज्य सरकार किसानों की उपज की ढुलाई के लिए ऊबर की किस्म के प्लेटफॉर्मों का प्रयोग करके अनाज खरीद में नवीनता लाने संबंधी विचार कर रही है।दिनकर गुप्ता ने प्रधानमंत्री को बताया कि राज्य की पुलिस लॉकडाउन /कफ्र्यू की पाबंदियों को सख्ती से लागू करने के साथ-साथ लोगों को ज़रूरी वस्तुएँ / सेवा की निरंतर सप्लाई को यकीनी बनाने के लिए दिन- रात काम कर रही है।इस दौरान प्रधानमंत्री ने राज्य प्रशासन को संदिग्ध मामलों की टेस्टिंग, ट्रेसिंग, आइसोलेशन और क्वारंटीन करने की तरफ विशेष ध्यान देने के लिए कहा, जो अगले कुछ हफ़्तों के लिए बहुत अहम हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री को दवाओं की निरंतर सप्लाई, मैडीकल उपकरण, दवाओं के लिए कच्चे माल की ढुलाई को यकीनी बनाने की हिदायत दी।डॉक्टरों, स्वास्थ्य अमले समेत नर्सिंग और पैरा-मैडीकल विभागों की विशेष देखभाल की ज़रूरत पर ज़ोर देते हुए श्री मोदी ने कहा कि उन सभी को ज़रुरी पीपीईज़, दस्ताने, मास्क आदि मुहैया करवाए जाने चाहिएं। उन्होंने कोविड-19 के मरीज़ों के लिए अलग /विशेष अस्पतालों की ज़रूरत पर भी ज़ोर दिया।इसी तरह कोविड-19 के मरीज़ों का इलाज करने के लिए राज्य में आयुष डॉक्टरों को प्रशिक्षण दिया जाना चाहिए जिनको पेशेवर डॉक्टरी देखभाल की ज़रूरत नहीं होती। प्रधानमंत्री ने कहा कि ऐसे डॉक्टरों की भर्ती और प्रशिक्षण तुरंत शुरू की जानी चाहिए। मोदी ने आगे कहा कि कोविड-19 आईसोलेशन सैंटरों /अस्पतालों के साथ डॉक्टरों /स्वास्थ्य कर्मचारी /कर्मचारी की मैपिंग की योजना भी तुरंत तैयार की जानी चाहिए।प्रधानमंत्री ने आगे कहा कि आयुष विभाग द्वारा बताए गए सुरक्षा निर्देशों को सभी नागरिकों के साथ साझा किया जाना चाहिए और इनका व्यापक प्रचार किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि सेवामुक्त हुए अमले /जी.ओ.जी., एन.जी.ओज़, एन.सी.सी., एन.एस.एस., वॉलंटियरों को कोविड-19 के बेहतर प्रबंधन के लिए स्थानीय स्तर पर शामिल होना चाहिए।अधिकृत लैबों से किये गए टैस्टों सम्बन्धी आंकड़े रोज़ाना केंद्र सरकार के साथ साझे किए जाने चाहिए। श्री मोदी ने कहा कि मौजूदा निगरानी प्रणाली को और मज़बूत करने के लिए जि़ला निगरान अधिकारियों की भर्ती की जानी चाहिए।