5 Dariya News

बिजली समझौते रद्द करने को लेकर स्पीकर को मिला ‘आप’ का प्रतिनिधिमंडल

सदन में पीपीएज रद्द करने के लिए प्राईवेट मैंबर बिल लाएंगे -अमन अरोड़ा

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चंडीगड़ 15-Jan-2020

आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब ने पिछली बादल सरकार के दौरान निजी थर्मल प्लांटों के साथ हुए एकतरफा और पंजाब विरोधी बिजली खरीद समझौते रद्द करने के लिए विधान सभा में प्रस्ताव पास करने की मांग की है जिससे राज्य के लोगों को हद से महंगी बिजली से राहत मिल सके।बुद्धवार को ‘आप’ के सीनियर नेता और विपक्ष के नेता हरपाल सिंह चीमा और अमन अरोड़ा के नेतृत्व में ‘आप’ विधायकों और नेताओं ने स्पीकर राणा के.पी. सिंह के साथ मुलाकात करके प्राईवेट मैंबर बिल ‘दा पंजाब टर्मिनेशन आफ पावर पर्चेज एग्रीमेंट विद 3 आईपीपीज बिल 2020’ को विधान सभा में पेश करने की इजाजत मांगी है। इसके इलावा पीपीएज रद्द करने की इसी मांग को लेकर एक ‘ध्यान हित नोटिस’ अलग तौर पर स्पीकर को सौंपा गया। इस मौके उनके साथ विधायक कुलतार सिंह संधवां, कुलवंत सिंह पंडोरी, जै किशन सिंह रोड़ी और मनजीत सिंह बिलासपुर समेत कोर समिति मैंबर और स्टेट मीडिया हैड मनजीत सिंह सिद्धू, पार्टी के प्रवक्ता एडवोकेट सतवीर वालिया और मैडम प्रभजोत कौर भी मौजूद थे।स्पीकर के साथ मुलाकात के बाद मीडिया को मुखातिब होते हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि बिजली की खरीदो फरोख्त और घातक समझौतों के बारीकी के साथ अध्ययन के बाद पार्टी के सीनियर विधायक अमन अरोड़ा ने पार्टी की ओर से बिजली समझौते रद्द करने के लिए प्राईवेट मैंबर बिल तैयार किया है, जिस को आज स्पीकर को सौंप कर 16 और 17 जनवरी के इस सैशन में पेश करने की मंजूरी मांगी गई है। हरपाल सिंह चीमा और अमन अरोड़ा ने सुखबीर सिंह बादल के नेतृत्व में अकालियों की ओर से महंगी बिजली को लेकर राज्यपाल को मैमोरंडम सौंपे जाने को मगरमच्छ के आंसू करार देते हुए कहा कि सुखबीर सिंह बादल ने ही सरकारी थर्मल प्लांट बंद करके प्राईवेट बिजली कंपनियों के साथ मिल कर पंजाब में बिजली माफिया पैदा किया था।

इस मौके अमन अरोड़ा ने कहा कि कांग्रेस पार्टी और कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने 2017 के चुनाव मैनीफैस्टो में इन घातक बिजली खरीद समझौतों को सरकार बनने पर रद्द करने का वायदा किया था, परंतु कांग्रेस की सरकार बने 3 साल हो चुके हैं न समझौते रद्द किए और न ही आडिट करवा कर इनको फिर से विचारने के लिए कोई कदम उठाया गया। बादलों की तरह कैप्टन सरकार ने भी निजी थर्मल प्लांटों की लूट के समक्ष घुटने टेक दिए हैं। अमन अरोड़ा ने कहा कि यदि कैप्टन अमरिन्दर सिंह अपनी पिछली सरकार के समय पानियों के समझौते और इस बार सेवा केंद्र चलाती बीएसएल कंपनी के समझौते रद्द कर सकती है तो बिजली समझौते क्यों नहीं रद्द कर सकती? अमन अरोड़ा ने कहा कि जितनी देर सरकार बिजली समझौते रद्द नहीं करती, उतनी देर लोगों का महंगी बिजली से छुटकारा संभव नहीं।अमन अरोड़ा ने कहा कि बादल सरकार के समय पर किए इन एकतरफा और विरोधी समझौतों के कारण पहले ही आर्थिक कंगाली में गुजर रहे पंजाब सिर 25 सालों में 70 हजार करोड़ से अधिक का भुगतान उस बिजली के बदले किया जायेगा, जो एक भी यूनिट नहीं खरीदी गई। अमन अरोड़ा ने कहा कि जो बिजली खरीदी ही नहीं जा रही उस का वार्षिक 2800 करोड़ रुपए का भुगतान पंजाब के लोग अपनी जेबों से क्यों करें।अमन अरोड़ा ने कहा कि पंजाब विधान सभा में अब सत्ताधारी कांग्रेस, अकाली दल (बादल) और भाजपा समेत सभी गुटों के विधायकों की परीक्षा होगी कि वह ‘आप’ द्वारा पेश किए इस प्राईवेट बिल को पास करके लोगों के हित में खड़े होते हैं या लोगों की जेब लूट रहे प्राईवेट थर्मल प्लांटों के हित में।‘आप’ नेताओं ने कहा कि यदि कैप्टन सरकार यह बिजली समझौते रद्द करने से भागती है तो 2022 में आम आदमी पार्टी की सरकार बनने पर सब से पहले यह समझौते रद्द करके बिजली माफिया को खत्म करेगी।