5 Dariya News

ट्रैवल एजैंट पर्यटन सचिव से मिले, मुददे उठाये

पीएमडीपी के तहत पर्यटन ढांचे के लिए 2000 करो़ रु. निर्धारित-रिगजिन सैम्फिल

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श्रीनगर 16-Oct-2018

पर्यटन सचिव रिगजिन सैम्फिल ने आज कहा कि प्रधानमंत्री विकास योजना (पीएमडीपी) परियोजनाओं के तहत राज्य में विभिन्न स्थलों पर पर्यटन बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 2000 करोड़ रु. निर्धारित किये गये हैं। रिगजिन सैम्फिल ने यह बात एक बैठक के दौरान टैªवल एजैंट सोसायटी ऑफ कश्मीर (टीएएसके) के पदाधिकारियों को सम्बोधित करते हुए कही, जिसमें पर्यटन सचिव को यात्रा एवं आतिथ्य क्षेत्र के समक्ष आने वाले विभिन्न मुददों एवं समस्याओं से अवगत करवाया गया।  इस अवसर पर टीएएसके ने भारत सरकार के पर्यटन मंत्रालय के अतुल्य भारत विचार अभियान के माध्यम से बड़े पैमाने पर विपणन की मांग की। उन्होंने पर्यटन तथा धरोहर स्थलों पर सार्वजनिक ढांचे के उन्नयन के अलावा डल झील में लेजर शो और शालीमार गार्डन में साऊंड एंड लाईट शो लॉच करने की मांग भी की। टीएएसके ने पर्यटन सचिव को भरोसेमंद टूर ओप्रेटरों की एयरपोर्ट इमिग्रेशन और एयरपोर्ट पास प्राप्त करने में आने वाली समस्याओं के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने पर्यटक व्यापार अधिनियम में निर्धारित मानदंडों के अनुसार होटलों और हाऊसबोटों के वर्गीकरण के अलावा अपनी शुल्क सीमा तय करने की मंाग भी की।

पर्यटन सचिव ने कहा कि विभाग जम्मू व कश्मीर राज्य में विदेशी पर्यटकों की आवाजाही को बढ़ावा देने के लिए राज्य में तथा बाहर रोड़ शो आयोजित कर रहा है। उन्होंने बताया कि मलेशिया, थाईलैंड तथा बंगलादेश जैसे देशों से पर्यटकों की आवाजाही में 45 प्रतिशत वृद्धि हुई है। इस अवसर पर पर्यटन सचिव ने टैªवल एजैंटों को सूचित किया कि पीएमडीपी परियोजनाओं के तहत भारत सरकार ने राज्य भर में पर्यटन ढांचे के विकास के लिए 2000 करोड़ रु. निर्धारित किये हैं। उन्होंने कहा कि इस परियोजना के तहत जम्मू व कश्मीर पर्यटन विभाग विभिन्न स्थलों पर पर्यटन क्षमता की पहचान करेगा, जिसे चरणबद्ध तरीके से विकसित किया जाएगा। अधिक जानकारी देते हुए सैम्फिल ने कहा कि विभिन्न स्थलों पर धरोहर, ईको, तीर्थ यात्रा, हिमालयी, साहसिक, सफारी, गोल्फ आदि सहित विशयों पर पर्यटन उत्पादों की पहचान की जाएगी और इन्हें विकसित किया जाएगा। इस सम्बंध में उन्होंने कहा कि विभाग ने विभिन्न विकास प्राधिकरणों तथा अन्य लाईन एजैंसियों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों को प्रति विशय और प्रति सर्किट पर 100 करोड़ रु. की लागत से विस्तृत परियोजना रिपोर्ट पेश करने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने कहा कि हम पर्यटन बुनियादी ढांचे के उन्नयन के लिए चरण 1 में राज्य के विभिन्न स्थलों पर 400 करोड़ रु. की कुछ परियोजनाओं को पहले से ही निश्पादित कर रहे हैं।