5 Dariya News

नवजोत सिंह सिद्धू द्वारा इंफोसिस के सह -संस्थापक नन्दन नीलकेनी से मुलाकात

मोहाली में इंफोसिस कैंपस को चालू करने का मुद्दा उठाया, नीलकेनी द्वारा कार्यवाही का भरोसा

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बैंगलुरू 11-May-2018

पंजाब के स्थानीय निकाय मंत्री स. नवजोत सिंह सिद्धू ने इंफोसिस के सह -संस्थापक श्री नन्दन नीलकेनी के साथ एक उच्च स्तरीय मुलाकात के दौरान पंजाब की समूची 167 शहरी स्थानीय इकाईयों का ई-गवर्नेंस के द्वारा स्वरूप बदलने के लिए अहम विचार-विमर्श किया। स. सिद्धू ने इस मौके पर मोहाली में इंफोसिस के कैंपस को चालू करने का मुद्दा भी उठाया। श्री नीलकेनी ने कहा कि आई.टी. क्षेत्र की विकास दर 35 प्रतिशत से 5 प्रतिशत पर आ जाने के बावजूद भी वह इंफोसिस के सी.ई.ओ. से बातचीत करके इस संबंधी कार्यवाही यकीनी बनाऐंगे। उन्होंने यह भी कहा कि हालाँकि इस प्रोजैक्ट में समय लग सकता है परन्तु वह इस संबंधी पूरा जोर लगाऐंगे। यहाँ यह बताने योग्य होगा कि इंफोसिस का मोहाली में 55 एकड़ क्षेत्रफल में फैला एक कैंपस है जो कि अभी तक चालू नहीं हुआ।दोनों शख्सियतों के मध्य ‘कैप्टन सरकार आपके द्वार’ सरकार द्वारा किये वायदे को पूरा करने संबंधी अहम विचार चर्चा हुई। इस संबंध में ई -गवर्नेंस का पक्ष बहुत महत्व रखता है क्यों कि इस से लोगों को सेवाएं उपलब्ध करवाने में पारदर्शिता आयेगी। पंजाब के प्रतिनिधियों ने कहा कि उनकी सोच इस संबंधी सिफऱ् तकनीकी नुक्तों तक ही सीमित नहीं बल्कि वह तो इन सभी मुद्दे को लोगों की सुविधा पक्ष से संपूर्णता में देखते हैं।स. सिद्धू ने इस पक्ष से सफलता यकीनी बनाने के लिए अपेक्षित मात्रा में श्रमिक उपलब्ध करने और सामथ्र्य बढ़ाने के लिए हर तरह के सहयोग का भरोसा दिया। इस सारी कवायद से न सिफऱ् राजस्व बढ़ेगा बल्कि इससे नागरिकों को उच्च स्तर की सेवाएं भी हासिल होंगी। स. सिद्धू ने जहाँ नागरिकों को डिजिटल ढंग के द्वारा सेवाएं मुहैया करवाने की महत्ता पर ज़ोर दिया वहीं कई अन्य पहलूयों जैसे कि लाईटिंग प्रणाली में सुधार, मच्छरों की रोकथाम, आवारा कुत्तों की समस्या के साथ निपटने, वेस्ट मैनेजमेंट में सुधार और सडक़ों के गड्ढों पर भी ध्यान केंद्रित किया। श्री नीलकेनी ने डिजिटल और तकनीकी क्षेत्र के अपने तजुर्बो के आधार पर इस बात से सहमति प्रकट की कि इस प्रोजैक्ट को लाभप्रद बनाने के लिए सामथ्र्य में विस्तार बहुत ज़रूरी है। इस मौके पर स. सिद्धू और पी.एम.आई.डी.सी. की टीम ने श्री नीलकेनी के साथ हुई विस्तृत विचार-चर्चा पर पूर्ण संतुष्टि ज़ाहिर की।

जि़क्रयोग्य है कि मौजूदा वर्ष के फरवरी महीने के दौरान ई-गवर्नमैंटस फाउंडेशन, जिसके संस्थापकों में से एक श्री नीलकेनी भी हैं, के साथ पंजाब भर की शहरी स्थानीय इकाईयों के कामकाज में ई-गवर्नेंस का विधि अपनाए जाएँ संबंधी एक एम.ओ.यू. पर भी हस्ताक्षर किये गए थे। ई-गवर्नमैंटस फाउंडेशन ने साल 2003 में अपने अस्तित्व में आने के बाद देश भर में 325 से ज़्यादा शहरी स्थानीय इकाईयों की कायाकल्प की है और अब पंजाब म्युनिसिपल इनफ्रास्ट्रक्चर डिवलपमैंट कंपनी (पी.एम.आई.डी.सी.) के साथ भागीदारी करके 67 सेवाएंं 12 मौड्यूलें जैसे कि प्रोपर्टी टैक्स, जल और सीवरेज मैनेजमेंट, शिकायतें, लाईसेंसिंग, फायर सेवाएंं, वैरीफिकेशन, जन्म और मृत्यु, शहरी स्थानीय इकाईयाँ (यू.एल.बी.) वैब पोर्टल, मोबाईल एप, सूबे और यू.एल.बी. डैशबोर्ड, पे -रोल और फाईनैंशियल अकाऊंटिंग के अंतर्गत मुहैया कराने का सकंल्प किया है। इन उपरोक्त सेवाओं के संबंधी लोगों को अपनी शिकायतों के निवारण हेतु शीघ्र ही एक एप भी शुरु किया जाएगा।स्थानीय निकाय मंत्री ने आगे बताया कि टी.सी.एस. के द्वारा 500 आई.टी. माहिरों की सेवाएं सूबे की शहरी स्थानीय इकाईयों का सामथ्र्य बढ़ाने के लिए ली जाएंगी। उन्होंने यह भी कहा कि हरेक म्युनिसिपल निगम के साथ 10, मध्यम स्तर की हरेक म्युंंिसपल कौंसिल के साथ 5 और लघु स्तर की हरेक म्युंसिपल कौंसिल और नगर पंचायत के साथ 2 माहिर तैनात किये जाएंगे।इस मौके पर दूसरो के अलावा स्थानीय निकाय विभाग पंजाब के प्रमुख सचिव श्री ए. वेणूं प्रसाद, पी.एम.आई.डी.सी. के सी.ई.ओ. श्री अजोए शर्मा, स. सिद्धू के सलाहकार स. अंगद सिंह सोही, ई-गवर्नमैंटस फाउंडेशन के सी.ई.ओ. श्री विराज त्यागी और ई-गवर्नमैंटस फाउंडेशन के डायरैक्टर (पाटर्नरशिपस) श्री भार्गव ई.एम. भी मौजूद थे।इस मौके पर पी.एम.आई.डी.सी. की टीम जिसमें श्री अजोए शर्मा, श्रीमती सिमरजीत कौर और श्री राहुल शर्मा ख़ास तौर पर शामिल थे, की इस प्रोजैक्ट में अग्रणी भूमिका निभाने के लिए सराहना भी की गई।