5 Dariya News

1984 के सिख दंगों के केसों में हाई कोर्ट द्वारा आरोपियों के खिलाफ की टिप्पणीयों ने सिख भाईचारे में न्याय की उम्मीद जगाई : मनजिन्दर सिरसा

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नई दिल्ली 12-Jul-2017

शिरोमणी अकाली दल व भाजपा गठजोड़ के विधायक श्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने आज कहा कि दिल्ली हाईकोर्ट द्वारा 1984 के सिख विरोधी दंगों के केसों में आरोपियों के खिलाफ की टिप्पणीयों ने न केवल सिख भाईचारे में न्याय की उम्मीद जगा दी है, बल्कि इसने यह भी साबित कर दिया है कि आरोपियों के खिलाफ लगाए गए दोष सच्चे हैं। यहां जारी किए एक ब्यान में श्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि यह 33 वर्षों में पहली बार हुआ है कि न्यायपालिका ने भी माना है कि आरोपी नहीं चाहते कि पीडि़तों को न्याय मिले। उन्होंने कहा कि चाहे पीडि़तों सहित सिख भाईचारे के मैंबर पहले दिन से यह कह रहे हैं कि आरोपी बहुत शक्तिशाली नेता है, जिनकी कांग्रेस पार्टी व इसकी सरकारें इतने सालों में मदद करती रही हैं पर यह पहली बार है कि न्यायपालिका ने भी माना है कि आरोपी उनको जारी किए गए कारण बताओ नोटिस का जवाब देने से भी भाग रहे हैं।

उन्होंने कहा कि अदालत की टिप्पणी कि सिख भाईचारे के खिलाफ हुए इन दंगों में 3000 से अधिक लोग मारे गए ने यह साबित किया है कि यह भाईचारें के खिलाफ योजनाबद्ध तरीके से किया गया अपराध था। उन्होंने कहा कि 3 दशकों से भी अधिक समय से पीडि़त व उनके परिवार न्याय हासिल करने के लिए संघर्ष कर रहे हैं पर कांग्रेस की सरकारें इन आरोपियों का हमेशा बचाव करती रहीं हैं और वह छूट जाते रहे हैं। उन्होंने कहा कि अब जब न्यायपालिका ने भी यह मान लिया है कि यह नेता केसों की दोबारा जांच व मुकद्दमों की दोबारा सुनवाई से भाग रहे हैं तो भाईचारे के मैंबरों को यह महसूस हो रहा है कि अब न्याय मिलने की संभावनाएं बढ़ गई है।श्री सिरसा ने कहा कि यह टिप्पणीयां न्यायिक प्रक्रिया के दुरुपयोग से अपनी चमड़ी बचाने में लगे इन आरोपियों के खिलाफ केसों का फैसला करने में बड़ी भूमिका अदा करेंगी।