5 Dariya News

आम आदमी पार्टी ने मजीठिया के ड्रग रैकेट के साथ संबंधों की हाईकोर्ट के सिटिंग जज से जांच करवाने की मांग की

विशेष जांच टीम ने मजीठिया को बचाने के लिए कैनेडा पर आधारित मुख्य नशा तस्करों का नाम मिटाया -हिम्मत सिंह शेरगिल

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अमृतसर 18-Jan-2017

आम आदमी पार्टी (आप) ने पंजाब पुलिस की विशेष जांच टीम पर पंजाब के माल मंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया को 6000 करोड़ के ड्रग रैकेट के मामले में बचाने का दोष लगाया और पंजाब के उप मुख्य मंत्री सुखबीर सिंह बादल पर केस की जांच को प्रभावित करने के आरोप लगाए। आम आदमी पार्टी पंजाब के लीगल सैल के चेयरमैन हिम्मत सिंह शेरगिल ने कहा कि मीडिया की रिपोर्टों अनुसार विशेष जांच टीम की तरफ से फतेहगढ़ साहिब की अदालत में 10 जनवरी को जमा की गई रिपोर्ट में कैनेडा पर  आधारित तीन ड्रग तस्करों सतप्रीत सिंह सत्ता, परमिन्दर सिंह पिन्दा और अमरिन्दर लाडी के नाम मिटा दिए गए हैं, जो कि अंतरराष्ट्रीय ड्रग तस्करी में शामिल थे और बिक्रम मजीठिया इनका सरगना था। एसआईटी रिपोर्टों के मुताबिक जगदीश भोला को दो मामले में राहत मिल चुकी है और तीसरे केस में भी कालीन चिट्ट मिल जाएगी।शेरगिल, जो कि मजीठा से बिक्रम मजीठिया के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं, उन्होंने कहा कि पंजाब प्रदेश कांग्रेस समिति के प्रधान कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने अपने भतीजे बिक्रम मजीठिया को सीबीआई जांच में बचाने में मदद की है। उन्होंने कहा कि मजीठीए को ईडी की गिरफ्तारी से बचाने के लिए कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने पार्टी की हदें पार कर कांग्रेस प्रधान सोनीया गांधी तक पहुंच की। बाद में नरिन्दर मोदी सरकार की तरफ से ईडी जांच अधिकारी निरंजन सिंह का तबादला कर दिया गया। 

शेरगिल ने कहा कि कैनेडा बैसड एनआरआई अनूप सिंह काहलों को फतेहगढ़ साहिब पुलिस की तरफ से 13 मार्च 2013 को सिंथैटिक ड्रग समेत गिरफ्तार किया गया था। काहलों की तरफ से किए गए कबूलनामे में जगदीश भोला का नाम आया और उसने बिक्रम मजीठिया को सरगना बताया। मजीठिया का नाम दो अन्य सह-दोषियों मनजिन्दर सिंह उर्फ बिट्टू औलख और जगजीत सिंह चहल की तरफ से लिया गया था, जो कि एक फरमा कंपनी चलाते थे और बाद में पुलिस ने उनको गिरफ्तार कर लिया था। शेरगिल ने बिट्टू औलख की तरफ से ईडी के समक्ष दी गई स्टेटमेंट पढ़ कर सुनाई, जिस में कहा गया था कि मजीठिया ने सतप्रीत सिंह सत्ता के साथ मुझे अपना सब से अच्छा मित्र बता कर मिलाया हैं। मैं सतप्रीत सिंह सत्ता को मजीठिया की रिहायश 43, ग्रीन ऐनेन्यू अमृतसर में मिला था। औलख ने यह भी ब्यान दिया था कि उसने सत्ता और पिन्दा को फरमा कंपनी के मालिक चहल के साथ मिलाया था। शेरगिल ने कहा कि सतप्रीत सिंह सत्ता और परमिन्दर सिंह पिन्दा का नाम बनूड़ पुलिस थाने में 2013 की एफआईआर नंबर 56 में दर्ज है। ड्रग केस में उनके नाम की पुलिस ने कभी जांच नहीं की। 

उन्होंने कहा कि कबूलनामें में बिक्रम मजीठिया का नाम आने पर पंजाब पुलिस ने ड्रग रैकेट की जांच रोक दी। एसएसपी हरदियाल सिंह, जो कि मामले की छानबीन कर रहे थे, उनको दिसंबर 2014 के पहले हफ्ते फिरोजपुर तबदील कर दिया गया और केस से हटा दिया गया। उन्होंने कहा कि उप मुख्य मंत्री सुखबीर सिंह बादल की तरफ से बिक्रम मजीठिया को बचाने के लिए जांच को आगे नहीं बढऩे दिया जा रहा था। शेरगिल ने कहा कि न तो पंजाब पुलिस और न ही ईश्वर सिंह के नेतृत्व वाली विशेष जांच टीम ने कैनेडा बैसड तीन तस्करों को जांच के लिए पेश होने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि जांच में मजीठिया के एनआरआई मित्रों के लिए कोई समन या लुक आउट नोटिस जारी नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि विशेष जांच टीम रिपोर्ट तैयार करने में ज़्यादातर पंजाब पुलिस पर निर्भर रही। शेरगिल ने पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट से अपील की है कि अंतरराष्ट्रीय ड्रग रैकेट का पर्दाफाश करने के लिए हाईकोर्ट के किसी सिटिंग जज से जांच करवाई जाए। उन्होंने कहा कि दो एनआरआईज को इंटैरोगेट किए बिना केस की जड़ तक पहुंचना मुश्किल है। उन्होंने कहा कि पंजाब पुलिस और सीबीआई की तरफ से पंजाब और केंद्र में अकाली भाजपा सरकारों के प्रभाव तले काम किया जा रहा है। उन्होंने आशा अभिव्यक्ति कि है कि इन्साफ की जीत होगी और माननीय पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट की तरफ केस को कानूनी तरीके से निपटाया जाएगा।