उत्तर प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी ने ताजमहल पर उपजे विवाद पर बयान देकर नए विवाद को जन्म दे दिया है। उन्होंने कहा कि उस समय ताजमहल को सात अजूबों में शामिल करने वाले भी उसी मिजाज के रहे होंगे, जिस मिजाज का बादशाह शाहजहां था। उन्होंने कहा कि ताजमहल को पर्यटन स्थल से बाहर करते हुए गुरु गोरखनाथ पीठ को इसमें शामिल किया जाना चाहिए। लक्ष्मी नारायण चौधरी अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद द्वारा आयोजित मेधावी छात्र-छात्राओं को सम्मानित करने के कार्यक्रम के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा, "ताजमहल को सात अजूबों में शामिल करने वाले भी बादशाह शाहजहां के ही मिजाज के रहे होंगे।" उन्होंने ताजमहल को पर्यटन स्थल से बाहर करते हुए गुरु गोरखनाथ पीठ को इसमे शामिल करने की बात कही। कैबिनेट मंत्री ने बताया कि ताजमहल को देखने आने वाले लोग ताजमहल को धार्मिक स्थल समझ कर नहीं आते, बल्कि एक सुंदर इमारत समझ कर आते हैं।