पंजाब के मुख्य मंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने सूबे के चावल मिल मालिकों को भरोसा दिलाया है कि अगले वर्ष की कस्टम मिलिंग नीति सभी सम्बन्धित पक्षों के साथ विचार विमर्श के बाद तैयार की जायेगी।मुख्यमंत्री ने यह भरोसा रॉयस मिलरज़ एसोसिएशन पंजाब के एक शिष्टमंडल को उस समय पर दिलाया जब वह अपने प्रधान ज्ञान चंद भारद्वाज के नेतृत्व में बुद्धवार को उनके निवास स्थान पर उनको मिलने आया।कैप्टन अमरिंदर सिंह ने सभी चावल मिलों को पाँच रुपए प्रति यूनिट के हिसाब से बिना किसी अड़चन से गुणात्मक बिजली स्पलाई यकीनी बनाने का वायदा किया और उनको भरोसा दिलाया कि उन की समस्याओं का सरकार की तरफ से हमदर्दी से जायज़ा लिया जायेगा।शिष्टमंडल ने कैप्टन अमरिंदर सिंह की तरफ से लिए गए कई महत्वपूर्ण फ़ैसलों की सराहना की जिन में पाँच रुपए प्रति यूनिट के हिसाब के साथ बिजली स्पलाई मुहैया करवाना भी शामिल है। उन्होंने कहा कि इस के साथ यह इकाईयां दूसरे राज्यों की इकाईयों के साथ मुकाबलेबाज़ी करने के योग्य हो सकेंगी। उन्होंने ट्रक यूनियनें ख़त्म करन के फ़ैसले का भी स्वागत किया जो कि पिछली शिरोमणी अकाली दल भाजपा सरकार के बिजऩस का स्रोत बन गई थीं। उन्होंने कहा कि इसके साथ सरकार को 2000 करोड़ रुपए की बचत होगी।सूबे में औद्योगिक विकास को बढ़ावा देने के लिए अपनी सरकार की वचनबद्धता को दुहराते हुये मुख्यमंत्री ने शिष्टमंडल को भरोसा दिलाया कि मैमोरंडम में पेश की गई उन की मांगों पर उपयुक्त विचार किया जायेगा।मिलिंग समर्था के अनुपात के हिसाब के साथ धान के वितरण के इलावा मेमोरेंडम में धान की ढुलाई, लदाई और उतराई के लिए सामान दरें निर्धारित करने की मांग की गई है। इस के इलावा मीलों के खातों को अंतिम रूप देने और धान की स्टोरेज के लिए नियम स्थापित करने के लिए भी मुख्यमंत्री के दख़ल की मांग की गई है।मीटिंग में उपस्थित एसोसिएशन के जि़ला प्रधान अश्वनी कुमार और समाना के डा. प्रेम नाथ शामिल थे।