उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जिले के कासिमाबाद थाना क्षेत्र के इंदौरा स्थित रामजानकी मंदिर के पुजारी की हत्या व मूर्ति चोरी का खुलासा करते हुए पुलिस ने रविवार को अंतर्जनपदीय गैंग के पांच सदस्यों को गिरफ्तार किया है। गैंग ने पहले ही चुराई गई मूर्ति सिंगेरा स्थित प्राथमिक विद्यालय के परिसर में फेंक दी थी, जिसे उसी वक्त बरामद कर लिया गया था। रविवार को पुलिस कार्यालय में आयोजित पत्रकार वार्ता में एसपी सोमेन वर्मा ने बताया, "बीती 23 अप्रैल को रामजानकी मंदिर के पुजारी की हत्या कर अज्ञात लुटेरों ने मूर्ति चुरा ली थी। इस मामले की विवेचना कासिमाबाद पुलिस टीम व क्राइम ब्रांच की संयुक्त टीम कर रही थी। मुखबिर की सूचना पर पुलिस टीम ने रविवार तड़के कासिमाबाद क्षेत्र के टोडरपुर तिराहे के पास एक टाटा मैजिक को पकड़ा़, जिसमें पांच लोग सवार थे।
पांचों संदिग्ध मऊ निवासी राजकुमार व रमेश चौहान, गाजीपुर निवासी धुरंधर खरवार, चंद्रिका यादव और मदनमोहन सिंह से पूछताछ की गई। उन्होंने बताया, "उन लोगों ने चोरी करने की नीयत से रामजानकी मंदिर की पत्रकार बनकर रेकी की थी। जब वह लोग मूर्ति चुराकर भागने लगे, तो पुजारी गौतमदास ने विरोध किया, जिसकी वजह से उन लोगों ने पुजारी की गला दबाकर हत्या कर दी और मूर्ति चुराकर भाग गए। लेकिन बाद में पता चला कि मूर्ति अष्टधातु की नहीं है, जिस पर 19 मई की रात में सिंगेरा के पास स्थित स्कूल में मूर्ति फेंककर भाग गए।"पुलिस ने अपराधियों के पास से एक कट्टा, एक टाटा मैजिक, बोरा, दानपेटिका से चुराए गए 1300 रुपये बरामद किए हैं।