अम्बाला छावनी निवासी मोबिन अहमद पुत्र गुलाम रसूल ने पाक आतंकवादियों को सबक सिखाने के लिए आज स्वेच्छा से विधिवत व हिन्दू रीति-रिवाजों से हिन्दू धर्म स्वीकार किया l इस अवसर पर उनका श्री हिन्दू तख़्त के धर्माधीश जगतगुरु महामंडलेश्वर पंचानंद गिरी जी महाराज व राष्ट्रीय प्रचारक वीरेश शांडिल्य ने श्री हिन्दू तख़्त की ओर से स्वागत किया l आज एक निजी होटल में स्वेच्छा से हिन्दू धर्म अपनाने वाले मोबिन अहमद ने कहा की वह अपने परिवार व तीन बेटो व एक बेटी की सहमति से हिन्दू धर्म स्वीकार कर रहे है और आज बिना किसी दवाब के उन्होंने श्री हिन्दू तख़्त के राष्ट्रीय प्रचारक वीरेश शांडिल्य की मौजूदगी में बिना दवाब के स्वेच्छा से हिन्दू धर्म स्वीकार कर लिया है उन्होंने कहा की गलती पाकिस्तानी आतंकी मुसलमान करते है और भुगतना हिन्दूस्तान के मुसलमानों को पड़ता है उन्होंने कहा की उनके पूर्वज हिन्दू ही थे और पाकिस्तान भी हिन्दुस्तान से बना है और पाकिस्तानी आतंकवादियों को ललकारते हुए और उनके खिलाफ हिन्दू धर्म अपनाकर पूरे विश्व में एक सन्देश दिया l
उन्होंने कहा की आज उन्हें हिन्दू धर्म अपनाकर ख़ुशी और वैसे तो उन्होंने कहा ना गीता ना कुरान ना गुरु ग्रंथ सहिव और ना ही बाइबल में लिखा है की निर्दोष लोगों की हत्या करो निर्दोषों को खून बहाओं उन्होंने कहा उन्हें देखकर मुस्लिम समाज के ओर लोग हिन्दू धर्म अपनाएंगे और पाक को मुहँतोड़ जवाब देंगे l पत्रकारों ने मोबिन अहमद से जब प्रशन पूछा की जव वह देश सेवा करना चाहते है तो मुसलमान बनकर भी कर सकते है तो उन्होंने अपने उत्तर में कहा की वह पाक आतंकियों व मुस्लिम देशद्रोहियों को सबक देना चाहते है और हिन्दुस्तान का मुसलमान खुश है उन्होंने कहा की पाकिस्तान के जो आतंकी 26/11 कर रहे है पठानकोट कर रहे है दीनानगर,उडी में आतंकी हमले कर रहे है उसमे जो पैसा लगता है कभी हिन्दुस्तान के जरूरतमंद मुसलमान को भेजा उन्होंने कहा की जो हिन्दू धर्म अपनाकर फैंसला लिया वह पूरे देश में अब मुस्लिम समाज से मांग करेंगे की हिन्दुस्तान को बचाने के लिए एक मंच पर आए l हिन्दुस्तान से आतंकवाद का खात्मा करने के लिए एक मंच पर आए l मोबिन अहमद ने धर्म परिवर्तन करने से पूर्व स्वेच्छा से तमाम औपचारिकताएं पूरी की और हिन्दू धर्म व सनातन धर्म की सेवा करने का संकल्प लिया और कहा की वह देश की एकता और अखंडता को मजबूत करेंगे l
इस अवसर पर श्री हिन्दू तख़्त के राष्ट्रीय प्रचारक वीरेश शांडिल्य ने कहा की उन्होंने मोबिन अहमद को कहा था की वह देश की सेवा करना चाहते है तो मुस्लिम बनकर भी कर सकते है क्योंकि अशफाक उल्लाँ खान मुसलमान थे और उन्होंने देश के लिए फांसी के फंदे को चूमा लेकिन जब मोबिन अहमद ने कहा की वह पाकिस्तानी मुस्लिमों को सन्देश देना चाहते है की वह हिन्दुस्तान के लिए कुछ भी कर सकते है और भारतीय जवानों के सर कट रहे है इससे वह दुखी थे क्योंकि इससे हिन्दुस्तान के मुस्लिमों की छवि खराब हो रही थी l उन्होंने कहा हिन्दू तख़्त उनकी भावनायों की कद्र करती है और विधिवत रूप से उन्होंने सिरोपा देकर सम्मानित किया l उन्होंने हिन्दुस्तान के मुसलमानों से अपील की वह पाक आतंकवाद को ललकारें,वन्दे मातरम कहे,राष्ट्रगान गाये उन्होंने कहा की दुःख की बात है की एक इमाम ने अपने ही देश के प्रधानमंत्री का सर काटने की अपील कर डाली उन्होंने कहा की हिन्दुस्तान के मुसलमानों को उस इमाम का बायकोट कर देना चाहिए और उसके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज करना चाहिए l इस मौके पर कुलवंत सिंह मानकपुर,सुरेश शर्मा,जसमीत जस्सी,लखविन्द्र सिंह साधापुर,केसर सिंह आदि मौजूद थे l