इतिहास, स याचार तथा विरसे को किसी कौम तथा देश का सब से बड़ा सरमाया होने का जिकर करते हुए पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने कहा कि जो राष्ट्र अपने इतिहास, विरसे तथा स याचार को नहीं संभालते वे समय के साथ साथ समाप्त हो जाते है।आज बारन गांव में साढ़े 4 एकड़ क्षेत्र में 2.20 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली शहीद बाबा जय सिंह जी खल्लकोट की यादगार का नींव पत्थर रखने के बाद स. बादल ने कहा कि शहीद कौम व देश का सरमाया होते है तथा कौम का यह इतिहास, स याचार तथा विरसा कौमों के भविष्य का मार्ग दर्शक करता है और इन को भुलाने वाली कौमों का भविष्य समय बीतने के साथ साथ धुंधला हो जाता है।उल्लेखनीय है कि शहीद बाबा जय सिंह जी सिख कौम के महान शहीद थे जिन्होंने 1753 में तंबाकू की गठ्ड़ी न उठाने के कारण सीमा के नवाब अबदुस्स समद खां ने उल्टा टांग कर उनकी खाल उतार कर शहीद कर दिया था। उन के साथ उनकी पत्नी, दो बेटियों तथा पुत्रवधु को भी शहीद कर दिया गया था।स. बादल ने आगे कहा कि सिख इतिहास महान कुर्बानियों से भरा पड़ा है। पंजाबियों को यह जजबा गुरु साहिबानों से मिला है । देश की आजादी से पहले तथा बाद में पंजाबियों ने अनेक कुर्बानियां की है । उन्होंने कहा कि पंजाबियों के बारे में यह बात मशहूर है कि यह इतिहास रच सकते है पर संभाल नहीं सकते तथा पंजाबियों के इस स्वभाव करके ही पंजाब के अमीर इतिहास, विरसे तथा स याचार को संभालने की पहले कोई खास कोशिश नहीं की गई। इस लिएदस साल पहले अकाली भाजपा गठजोड़ सरकार बनने पर राज्य सरकार ने पंजाब के शानदार इतिहास तथा अमीर विरसे को संभालने के लिए अनेक प्रयास किए।
स. बादल ने कहा कि उनकी सरकार ने सब से पहले श्री आनंदपुर साहिब में विरासत -ए-खालसा का निर्माण करके विरसे को संभालने की पहलकदमी की। राज्य सरकार ने देेश की आजादी संघर्ष में महान योगदान देने वाले नायकों की याद को मूर्तीमान करने के लिए जालंधर के नजदीक करतारपुर में जंग-ए-आजादी यादगार बनाई गई है। इसी तरह ही संगरुर जिले के गांव कुप्प रोहीड़ा में बड़े घल्लुघारे तथा गुरदासपुर जिले के गांव काहनूवाल छंब में छोटे घल्लुघारे की यादगार तथा चप्पड़चिड़ी में बाबा बंदा सिंह बहादर की यादगार का निर्माण किया गया है। उन्होंने कहा कि इसके अलावा पंजाब के बहादुर सैनिकों को समर्पित अमृतसर में जंगी यादगार बनाई गई है। अमृतसर में दरबार साहिब में 220 करोड़ रुपये की लागत से बनाए गए प्रवेश द्वार भी कौम को समर्पित किया गया है।उन्होंने बताया कि खुरालगढ़ (होशियारपुर) में गुरु रविदास जी की यादगार के निर्माण पर 200 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे है तथा श्री आनंदपुर साहिब में बाबा जीवन सिंह जी की यादगार बनाई जा रही है।उन्होंने कहा कि इन यादगारों का उदेश्य आने वाली पीढिय़ों को अपने अमीर इतिहास तथा विरसे से जोडऩा है ताकि वे भविष्य में इस से दिशा लेकर देश व कौम की रक्षा के लिए अपना योगदान दे सकें। इस मौके पर मु यमंत्री के साथ उनके संयुक्त प्रमुख सचिव श्री कुमार अमित भी मौजूद थे।