जालंधर में अग्रवाल समाज द्वारा अग्रसेन जयंती के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के साथ शामिल होने के बाद स. जगमीत सिंह बराड़ स्थानीय सिख समाज के सदस्यों द्वारा कपूरथला चौक में लगाए धरने में शामिल हुए।इस धरने का नेतृत्व धामक व सामाजिक नेताओं द्वारा गत दिवस जालंधर में श्री गुरू ग्रंथ साहिब जी की बेअदबी की घटना के खिलाफ रोष जताते हुए किया जा रहा है, जहां शेर सिंह कालोनी के निकट नहर से श्री गुरू ग्रंथ साहिब जी के फटे पन्ने बरामद किए गए थे।बराड़ समेत कई धार्मिक व सामाजिक नेता धरने में शामिल हुए और इस अवसर पर भावनात्मक भाषण में उन्होंने कहा कि बार-बार हो रही बेअदबी की घटनाएं साजिश के तहत की जा रही हैं, ताकि 2017 के चुनावों से पहले वोटरों को बांटा जा सके। इन घटनाओं के पीछे सत्ताधारी अकालियों का दिमाग चल रहा है, जो आखिरी उम्मीद के रूप में धर्म के नाम पर वोटरों को बांटने की कोशिश कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि यह सरकार बरगाड़ी व बहबल कलां के आरोपियों की पहचान करने में भी नाकाम साबित हुई है और खबरों के मुताबिक एक बार फिर से अज्ञात व्यक्तियों ने यह गुनाह किया है। लेकिन पंजाब के लोगों ने आरोपी पहचान लिए हैं, अकाली सरकार आरोपी है, रेत/बजरी माफिया आरोपी है, नशा माफिया आरोपी है। अब ये ऐसा अपनी आखिरी चालाकी के रूप में कर रहे हैं।इस अवसर पर मौजूद लोगों को अपील करते हुए उन्होंने कहा कि ये अब आपके पास आएंगे और कहेंगे कि पंथ को वोट डालो, पंथ को खतरा है। लेकिन आप इनके धोखे में न आना, हां हमारा पंथ खतरे में है, उसे बचाए जाने की जरूर है, लेकिन उसे अकालियों व उनकी धर्म और बांटने की सियासत से खतरा है। उन्हें आपको बांटने न दें। उन्हें गुरू के लिए आपकी भावनाओं व प्यार का इस्तेमाल न करने दें। हमें एकजुट होकर इन अखौती पाखंडी पंथ के ठेकेदारों को हटाना चाहिए और पंजाब व सिखवाद को इन अपराधियों के हाथों से बचाना चाहिए।वह सुखबीर सिंह बादल के नेतृत्व में पुलिस की जानबूझकर और साजिश के तहत असफलता पर बरसे और कहा कि यदि सुखबीर की बस किसी का कत्ल करती है, ये ड्राइवर को नहीं ढूंढ पाते, यदि सुखबीर के गुंडे किसी को पीटते हैं, ये उस व्यक्ति को नहीं ढूंढ पाते, जब हमारे गुरू पर हमला किया जाता है, ये आरोपी को नहीं ढूंढ पाते, जब संतों पर हमला किया जाता है, ये कातिलों को नहीं ढूंढ पाते। लेकिन जब लोग सुखबीर की बसों पर अपना गुस्सा निकालते हैं, पुलिस कुछ ही घंटों में सभी के परिवारों को गिरफ्तार कर लेती है।